1 से 3 साल तक के बच्चों के लिए अमृत है चावल का माढ़, जानिए फायदे और पिलाने का सही तरीका
punjabkesari.in Tuesday, Sep 02, 2025 - 03:55 PM (IST)

नारी डेस्क : अक्सर हम चावल पकाते समय निकलने वाले माढ़ को बेकार समझकर फेंक देते हैं। लेकिन क्या आप जानते हैं कि यह माढ़ छोटे बच्चों के लिए किसी अमृत से कम नहीं है? खासकर 1 से 3 साल तक के बच्चों के लिए यह बेहद फायदेमंद माना जाता है।
छोटे बच्चों में अक्सर कब्ज, दस्त (डायरिया) और आंतों में जलन जैसी परेशानियां हो जाती हैं। इसमें मौजूद विटामिन B, C, E और कार्बोहाइड्रेट बच्चों के शरीर में पोषण की कमी को पूरा करते हैं। ऐसे में चावल का माढ़ बहुत कारगर साबित होता है। आइए जानते हैं इसके फायदे और इसे पिलाने का सही तरीका।
चावल का माढ़ क्या है?
जब हम खुले बर्तन (पतेले) में चावल पकाते हैं तो उबाल आने के बाद उसमें से जो पानी निकलता है उसे चावल का माढ़ कहा जाता है। इसी पानी में चावल के ज्यादातर पोषक तत्व घुल जाते हैं, जो बच्चों के स्वास्थ्य के लिए बेहद लाभकारी होते हैं।
1. एनर्जी का खजाना
छोटे बच्चों को ज्यादा ऊर्जा की जरूरत होती है। चावल का माढ़ उन्हें तुरंत एनर्जी देता है। इसमें कार्बोहाइड्रेट और अमीनो एसिड होते हैं, जो बच्चों की ग्रोथ और एक्टिविटी के लिए जरूरी हैं।
2. डिहाइड्रेशन से बचाता है
1 से 3 साल की उम्र में कई बच्चे पानी पीने से मना करते हैं। ऐसे में उनके शरीर में पानी की कमी हो जाती है और वे डिहाइड्रेशन की चपेट में आ जाते हैं। अगर बच्चा पानी नहीं पी रहा है तो आप उसे चावल का माढ़ पिला सकते हैं। यह शरीर में पानी की कमी को पूरा करता है और उन्हें हाइड्रेटेड रखता है।
3. डायरिया और पेट की समस्याओं में राहत
बच्चों को अक्सर डायरिया, पेट दर्द और कब्ज की समस्या हो जाती है। ऐसे समय में चावल का माढ़ बहुत फायदेमंद होता है। यह दस्त को रोकने में मदद करता है और आंतों को आराम देता है। अगर बच्चे को डायरिया के शुरुआती लक्षण दिखें तो तुरंत उसे चावल का माढ़ पिलाना फायदेमंद रहता है।
4. पाचन तंत्र को मजबूत बनाए
छोटे बच्चों का पाचन तंत्र काफी नाजुक होता है। चावल का माढ़ हल्का होता है और इसे आसानी से पचाया जा सकता है। यह पेट को ठंडक देता है और आंतों की जलन को कम करता है।
बच्चों को चावल का माढ़ कैसे पिलाएं?
माढ़ हमेशा ताजा और हल्का गुनगुना ही पिलाना चाहिए। इससे बच्चा इसे आसानी से पी सकेगा।
इसमें नमक या मसाले बिल्कुल भी न डालें, क्योंकि छोटे बच्चों का पाचन तंत्र नाजुक होता है और मसाले उन्हें नुकसान पहुंचा सकते हैं।
शुरुआत में बच्चे को थोड़ा-थोड़ा माढ़ ही दें, ताकि वह धीरे-धीरे इसका स्वाद और आदत अपना सके।
अगर बच्चा इसे ठीक से पीने लगे तो धीरे-धीरे इसकी मात्रा बढ़ाई जा सकती है।
ध्यान रखें कि बच्चा 6 महीने से बड़ा होना चाहिए। 6 महीने से पहले केवल मां का दूध ही सबसे सुरक्षित और पोषण से भरपूर आहार है।
चावल का माढ़ एक बेहद सस्ता, प्राकृतिक और सुरक्षित तरीका है छोटे बच्चों को एनर्जी और पोषण देने का। यह न सिर्फ उनके शरीर को ताकत देता है बल्कि पेट की कई समस्याओं से भी बचाता है। अगली बार जब आप चावल पकाएं तो उसके माढ़ को बेकार समझकर न फेंकें, बल्कि इसे बच्चों के स्वास्थ्य के लिए इस्तेमाल करें।