विवादों से बचने के लिए जॉनसन एंड जॉनसन का बड़ा फैसला, 73 हजार करोड़ का देगी मुआवजा

punjabkesari.in Wednesday, Apr 05, 2023 - 10:26 AM (IST)

अमेरिकी फार्मास्युटिकल दिग्गज कंपनी  जॉनसन एंड जॉनसन पिछले कुछ समय से विवादों का सामना कर रही है। कंज्यूमर सेफ्टी केस के चलते कंपनी ने जहां अपने बेस्ड बेबी पाउडर की बिक्री बंद कर दी थी तो वहीं अब जॉनसन एंड जॉनसन ने सालों पुराने मुकदमों को हल करने के लिए 8.9 अरब डॉलर का प्रपोजल दिया है। हजारों महिलाओं ने कंपनी पर बच्चेदानी का कैंसर होने के आरोप में केस किए थे।

 

जॉनसन एंड जॉनसन पर लग चुके हैं कई आरोप

2020 में कंपनी ने घोषणा की थी कि वो बेबी पाउडर को अमेरिका और कनाडा में बेचना बंद कर देगी। कंपनी का कहना था कि वहां कई केस दर्ज किए जाने के बाद ऐसी ग़लत जानकारियों के फैलने से कि ये पाउडर सुरक्षित नहीं है, इसकी मांग में कमी आ गई थी। अब सालों पुराने  उन मुकदमों को खत्म करने के लिए कंपनी ने 890 करोड़ अमेरिकी डॉलर (लगभग 73,086 करोड़ रुपये) के समझौते की पेशकश की है। 

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 कैंसर पीड़ितों को भी मुआवजा देगी कंपनी

दावा किया जा रहा है कि टैल्कम पाउडर प्रोडक्ट से जिन लोगों को कैंसर हुआ है उन्हें  73 हजार करोड़ रुपए का मुआवजा दिया जाएगा। जॉनसन एंड जॉनसन के मुताबिक वह अपनी सहायक कंपनी LTL Management LLC के ज़रिये अगले 25 सालों में हज़ारों दावेदारों को 890 करोड़ अमेरिकी डॉलर का भुगतान करेगी।  हालांकि   जॉनसन एंड जॉनसन का कहना है कि उनका टैल्कम पाउडर उत्पाद सुरक्षित है, फिर भी प्रभावी ढंग से हल करना  हल करना कंपनी और सभी हितधारकों के सर्वोत्तम हित में है। 

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कई केस का सामना कर रही है कंपनी

जॉनसन एंड जॉनसन पर हज़ारों ग्राहकों ने यह केस दर्ज किया है कि इसके पाउडर में एस्बेस्टस है जिससे कैंसर होता है।2018 में न्यूज़ एजेंसी रॉयटर्स ने एक शोध प्रकाशित कर दावा किया था कि  जॉनसन एंड जॉनसन कंपनी वर्षों से इस बात को जानती थी कि उसके पाउडर में एस्बेस्टस मौजूद है। ये पाउडर हाइड्रेटेड मैग्निशियम को मिलाकर बनता है जो धरती में पाई जाने वाली खनिज है और यह एस्बेस्टस के पास वाली परत के क़रीब पाया जाता है. एस्बेस्टस को कैंसर पैदा करने वाले पदार्थ के रूप में जाना जाता है।

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जॉनसन एंड जॉनसन पर पहले भी लग चुका है जुर्माना

याद हो कि अमेरिका की एक कोर्ट ने कंपनी पर 15 हजार करोड़ रुपये का जुर्माना लगाया था। इस मामले में कोर्ट का कहना था कि कंपनी ने बच्चों के स्वास्थ्य के साथ खिलवाड़ किया है। अमेरिका में इस विवाद के बाद पूरी तरह से ये प्रोडक्ट बंद कर दिए गए थे। हालांकि कंपनी इन आरोपों काे इंकार करती रही है। 
 


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Content Writer

vasudha

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