Australia की चेतावनी: भारत में मिल रही नकली रेबीज वैक्सीन, हर साल 20,000 लोगों की मौतें
punjabkesari.in Monday, Dec 29, 2025 - 12:10 PM (IST)
नारी डेस्क: ऑस्ट्रेलियाई स्वास्थ्य संस्थान ऑस्ट्रेलियन टेक्निकल एडवाइजरी ग्रुप ऑन इम्यूनाइजेशन (ATAGI) ने भारत में इस्तेमाल होने वाली ABHAYRAB ब्रांड की रेबीज वैक्सीन के बारे में चेतावनी जारी की है। ATAGI ने बताया कि नवंबर 2023 से भारत में यह नकली वैक्सीन बाजार में आ रही है और इसका इस्तेमाल करने से रोगियों को रेबीज के खिलाफ पर्याप्त सुरक्षा नहीं मिलती।
नकली वैक्सीन के बारे में जानकारी
चेतावनी में कहा गया है कि नकली ABHAYRAB वैक्सीन में सही मात्रा में सक्रिय तत्व (Active Ingredient) नहीं होते। ABHAYRAB वैक्सीन ऑस्ट्रेलिया में इस्तेमाल नहीं होती, इसलिए यह चेतावनी खासकर उन यात्रियों के लिए जारी की गई है जिन्होंने नवंबर 2023 के बाद भारत में वैक्सीन लगवाई थी।
Read this carefully.
— Kumaon Jagran (@KumaonJagran) December 26, 2025
A young girl died of rabies despite receiving four rabies vaccine shots. That single line should shake any society to its core. Vaccines are supposed to be the last line of defence. When even that fails, something is fundamentally wrong.
Now place this next… pic.twitter.com/vWzwmDufnf
ऑस्ट्रेलियाई स्वास्थ्य अधिकारियों ने सलाह दी है कि इस वैक्सीन को संभावित रूप से अमान्य मानें और यदि जरूरी हो तो इसे Rabipur या Verorab जैसी मान्यता प्राप्त वैक्सीन से बदलवाएं।
भारत में रेबीज का खतरा
विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) के अनुसार, भारत में हर साल लगभग 18,000 से 20,000 लोग रेबीज से मौत का शिकार होते हैं। इनमें ज्यादातर मामलों का कारण कुत्तों द्वारा काटना होता है। औसतन हर 30 मिनट में एक मौत दर्ज होती है।
रेबीज के लक्षण आने के बाद यह बीमारी लगभग हमेशा जानलेवा साबित होती है और इसका कोई भरोसेमंद इलाज नहीं है। बचाव का मुख्य तरीका समय पर और सही पोस्ट-एक्सपोजर ट्रीटमेंट (PEP) है। इसमें घाव को तुरंत और अच्छी तरह से धोना, सही शेड्यूल के अनुसार वैक्सीन लगवाना, और गंभीर मामलों में रेबीज इम्यूनोग्लोबुलिन (RIG) देना शामिल है।
ठाणे में हालिया मामला
महाराष्ट्र के ठाणे में छह साल की एक बच्ची की हाल ही में रेबीज से मौत हुई। बच्ची को वैक्सीन की चार डोज दी गई थीं, फिर भी उसकी जान नहीं बच पाई। इस मामले ने रेबीज रोकथाम में मौजूद खामियों को उजागर किया।
मामले की जांच जारी है। डॉक्टरों के बयान अलग-अलग रहे हैं। कुछ विशेषज्ञों का कहना है कि संभवतः रेबीज इम्यूनोग्लोबुलिन नहीं दिया गया, जबकि नागरिक स्वास्थ्य अधिकारियों का दावा है कि इसे प्रदान किया गया था।
ऑस्ट्रेलिया की ATAGI की सलाह
ऑस्ट्रेलियाई तकनीकी सलाहकार समूह (ATAGI) ने कहा है कि जिन लोगों ने भारत में इस अवधि के दौरान Abhayrab वैक्सीन लगवाई है, उन्हें तुरंत हेल्थकेयर प्रोवाइडर से संपर्क करना चाहिए। विशेष रूप से ऑस्ट्रेलिया लौट रहे यात्रियों को वैध वैक्सीन से पुनः टीकाकरण पर विचार करना चाहिए, जैसे कि Rabipur या Verorab। नकली टीकों में आवश्यक सक्रिय तत्व नहीं हो सकता या उन्हें सही तरीके से स्टोर नहीं किया गया हो, जिससे ये प्रभावहीन हो सकते हैं।
Fake Paneer,
— Archana Patel (@archanapatel_) December 28, 2025
fake news,
fake leadership,
fake supporters,
fake accounts,
fake influencer
के बाद पेश है, fake रेबीज़ वैक्सीन ...
इस झूठी और खराब वैक्सीन के भारतीय बाजार में बिकने के बारे में भारतीय संस्था DCGI ने नहीं बल्कि ऑस्ट्रेलिया और अमेरिका की सरकार ने भारत को बताया,… pic.twitter.com/zbCXBa7zrm
जरूरी कदम
यदि आपने 1 नवंबर 2023 के बाद भारत में Abhayrab वैक्सीन लगवाई है, तो डॉक्टर से संपर्क करें।
वैध वैक्सीन से पुनः टीकाकरण पर विचार करें।
टीकाकरण के सभी दस्तावेज़ संभालकर रखें, खासकर विदेश यात्रा के लिए।
स्वास्थ्य अधिकारियों की सलाह का पालन करें ताकि रैबीज के खतरनाक प्रभाव से बचा जा सके।
भारत में वैक्सीन लगवा चुके लोगों के लिए सलाह
रेबीज वैक्सीनेशन का पूरा रिकॉर्ड रखना जरूरी है।
यदि किसी व्यक्ति को नवंबर 2023 के बाद ABHAYRAB वैक्सीन लगी है, या वैक्सीन का ब्रांड स्पष्ट नहीं है, तो ATAGI हेल्थकेयर प्रोवाइडर से संपर्क करने की सलाह देता है।
डॉक्टर जरूरत पड़ने पर व्यक्ति को सत्यापित रेबीज वैक्सीन से रिप्लेसमेंट डोज सुझा सकते हैं। जिन लोगों को भारत के बाहर वैक्सीन लगी है, या जिनके पास मान्यता प्राप्त वैक्सीन के दस्तावेज हैं, उन पर यह चेतावनी लागू नहीं होगी।

