पुलवामा अटैक: वो काला दिन जिसे आज भी नहीं भूला पाया भारत

punjabkesari.in Monday, Feb 14, 2022 - 10:34 AM (IST)

14 फरवरी यानि वैलेंटाइन डे, ये दिन प्यार करने वालों के लिए बेहद खास होता है। लेकिन साल 2019 को इसी दिन एक दिल दहला देने वाली खबर सामने आई थी। जी हां, हम बात कर रहे पुलवामा हमले की, जिसे दो साल बीत गए हैं। 14 फरवरी 2019 हिंदुस्तान के इतिहास का वो काला दिन है जब 40 जवान बिना लड़े ही 350 कि.लो. RDX की भेंट चढ़ गए। सरकार आज तक इस बात का पता नहीं लगा सकी कि 350 कि.लो. RDX वहां पहुंचा कैसे। इस हमले का दर्द भारत आज भी नहीं भूला है। आज सारा देश शहीदों को श्रद्धांजलि दे रहा है। इस हमले में किसी ने अपने पति को खोया, किसी ने अपना भाई तो किसी ने अपने बेटे को खो दिया। 

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जम्मू-श्रीनगर राष्ट्रीय राजमार्ग पर करीब 2500 जवानों को लेकर 78 बसों में सीआरपीएफ का काफिला गुजर रहा था। अपनी धुन में जा रहा सीआरपीएफ का काफिला पुलवामा पहुंचा ही था, तभी सड़क के दूसरे साइड से सामने से आ रही एक कार ने सीआरपीएफ के काफिले के साथ चल रहे वाहन में टक्‍कर मार दी। जब तक सीआरपीएफ के जवान कुछ समझ पाते, विस्फोटकों से लदी कार ने ऐसा धमाका किया, जिससे पूरा देश दहल उठा।

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इतना ही नहीं धमाके के बाद आतंकियों ने जवानों पर गोलियां बरसानी शुरू कर दी। लेकिन अपनी बहादुरी दिखाते हुए भारतीय जवानों ने भी तुरंत काउंटर फायरिंग शुरू कर दी। जिसे देख आतंकी वहां से भाग निकले। पर धमाके के बाद वहां का दृश्य इतना दर्दनाक था कि इसे देख पूरा देश रो पड़ा। जवानों के शव इधर-उधर बिखरे पड़े थे, चारों तरफ खून ही खून दिखाई दे रहा था। इस घटना ने देश को ऐसे झकझोरा कि सबके जुबान पर बस एक ही बात थी, वो थी बदला। इस हमले के बाद से 14 फरवरी का दिन भारत के इतिहास में काला दिन साबित हो गया।

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Content Writer

Anjali Rajput

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