परेश रावल के बाद Anu Aggarwal ने भी किया खुलासा, कहा– ''यूरिन पीना है अमृत सेवन"..
punjabkesari.in Friday, May 02, 2025 - 05:07 PM (IST)

नारी डेस्क: बॉलीवुड के दिग्गज अभिनेता परेश रावल ने हाल ही में एक ऐसा बयान दिया, जिसने सबको चौंका दिया। उन्होंने दावा किया कि उन्होंने अपने पैर के घाव को ठीक करने के लिए लगातार 15 दिन तक हर सुबह अपना यूरिन (मूत्र) पिया। उनका मानना था कि इससे उन्हें फायदा हुआ और उनका घाव भर गया। हालांकि, डॉक्टरों ने उनके इस बयान को अवैज्ञानिक और गलत बताया। कई स्वास्थ्य विशेषज्ञों ने इस पर नाराजगी जताई और इसे खतरनाक भी कहा।
अनु अग्रवाल ने किया समर्थन, बताया योग का हिस्सा
अब इस मुद्दे पर 1990 के दशक की अभिनेत्री अनु अग्रवाल ने भी प्रतिक्रिया दी है। उन्होंने परेश रावल के बयान का समर्थन किया और बताया कि उन्होंने भी ऐसा किया है। एक इंटरव्यू में अनु अग्रवाल ने बताया कि बहुत से लोगों को इसकी जानकारी नहीं होती, लेकिन यूरिन पीने को “आम्रोली” कहा जाता है, जो हठ योग की एक प्रक्रिया है। उन्होंने कहा कि उन्होंने खुद भी यह अभ्यास किया है और इसके स्वास्थ्य लाभों को महसूस किया है।
क्या है आम्रोली?
अनु ने बताया कि आम्रोली कोई नई बात नहीं है, यह योग का एक पुराना अभ्यास है। उन्होंने समझाया आप यूरिन की पूरी धार नहीं पीते। केवल बीच का हिस्सा पिया जाता है, जिसे “अमृत” कहा जाता है। यह एंटी-एजिंग में मदद करता है, स्किन को झुर्रियों से बचाता है और शरीर के संपूर्ण स्वास्थ्य के लिए फायदेमंद माना जाता है। अनु ने साफ कहा, “मैंने इसके फायदे महसूस किए हैं।”
जब इंटरव्यू में अनु से पूछा गया कि विज्ञान ऐसी प्रथाओं का समर्थन नहीं करता, तो उन्होंने जवाब दिया “विज्ञान कितना पुराना है? सिर्फ करीब 200 साल। लेकिन योग? 10,000 साल से ज्यादा पुराना। तो आप किसकी बुद्धि पर भरोसा करेंगे? मैं योग को मानती हूं, मैं योग को जीती हूं।” उनका इशारा इस ओर था कि योग के अनुभव और परंपरा को विज्ञान से ऊपर माना जाना चाहिए।
ये भी पढ़े: वृंदावन में मुस्लिम परिवार ने अपनाया हिंदू धर्म, कहा- 'दबाव में आकर इस्लाम धर्म'...
अनु अग्रवाल की लाइफ की कहानी
अनु अग्रवाल को 1990 में फिल्म ‘आशिकी’ से फेम मिला। पहली ही फिल्म से वह स्टार बन गईं। लेकिन उनकी ये शोहरत ज्यादा समय तक नहीं टिक पाई। ‘आशिकी’ जैसी सफलता उन्हें दोबारा किसी फिल्म से नहीं मिली। 1996 के बाद उन्होंने फिल्में छोड़ दीं और एक वर्ल्ड टूर पर निकल गईं। फिर उन्होंने एक आश्रम में रहना शुरू किया और आध्यात्मिक जीवन जीने लगीं। उन्होंने अपना नाम भी बदल लिया था।
भयानक एक्सीडेंट और जिंदगी की जंग
साल 1999 में उनका एक गंभीर कार एक्सीडेंट हुआ, जिसके बाद वह कोमा में चली गईं। लगभग एक महीने तक कोमा में रहने के बाद जब उन्हें होश आया तो वो खुद को पहचान नहीं पा रही थीं। डॉक्टरों ने उनके परिवार से कहा था कि वो कोमा में ही मर जाएंगी, लेकिन अनु ने कहा, “योग की मदद से मैंने मौत को भी मात दी।” इस हादसे के बाद उनकी शक्ल-सूरत भी बदल गई थी और उनका फिल्मी करियर खत्म हो गया।
अब कैसा है जीवन?
अनु अग्रवाल ने कभी शादी नहीं की। उनका एक लॉन्ग टर्म रिलेशनशिप रहा लेकिन वो भी टूट गया। अब वह इंडस्ट्री से पूरी तरह दूर हैं। उन्होंने एक फाउंडेशन शुरू किया है जिसमें वह गरीब बच्चों को मुफ्त में योग सिखाती हैं। इसके अलावा वह पावरलिफ्टर भी हैं और कई वेट लिफ्टिंग प्रतियोगिताओं में हिस्सा ले चुकी हैं।
परेश रावल और अनु अग्रवाल के यूरिन थेरेपी को लेकर किए गए बयानों ने एक बार फिर योग और विज्ञान की बहस को हवा दे दी है। एक तरफ डॉक्टर इसे खारिज करते हैं, वहीं कुछ लोग इसे प्राचीन विधा मानकर इसके लाभ गिनाते हैं।