नाखूनों में बार-बार दिखें ये बदलाव तो समझ लें शरीर में चल रही कोई बड़ी गड़बड़ी
punjabkesari.in Tuesday, Oct 07, 2025 - 05:15 PM (IST)

नारी डेस्क : सर्दियों में कई लोगों के नाखूनों का रंग बदलकर नीला हो जाता है। अगर आपके नाखूनों का रंग बार-बार बदलता है तो इसे नजरअंदाज न करें। अक्सर यह किसी गंभीर स्वास्थ्य समस्या का संकेत हो सकता है। नाखूनों का बैंगनी या नीला रंग यह दर्शाता है कि शरीर में कहीं ना कहीं स्वास्थ्य संबंधी समस्या हो सकती है। आइए जानते हैं नाखूनों का रंग बदलने के प्रमुख कारण।
ऑक्सीजन की कमी (Cyanosis)
जब लाल रक्त कोशिकाओं में ऑक्सीजन की कमी होती है, तो नाखून नीले पड़ सकते हैं। इसे सायनोसिस कहा जाता है।
लक्षण: सांस लेने में तकलीफ, सांस फूलना और छाती में दर्द। अगर नाखून नीले हों तो डॉक्टर से तुरंत जांच करवाना जरूरी है।
निमोनिया (Pneumonia)
निमोनिया होने पर भी नाखूनों का रंग नीला पड़ सकता है।
लक्षण: तेज बुखार और नाखूनों का अचानक नीला पड़ना। यदि तेज बुखार के साथ नाखून नीले पड़ें, तो निमोनिया का टेस्ट जरूर करवाएं।
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रक्त प्रवाह सही से ना होना (Raynaud's Phenomenon)
हाथों और पैरों की रक्त वाहिकाएं सख्त हो जाने पर खून सही से नहीं पहुंच पाता और नाखून नीले पड़ जाते हैं।
उपाय:शरीर को गर्म रखें ताकि रक्त प्रवाह सही से हो सके।
हृदय रोग (Heart Disease)
जन्मजात हृदय या रक्त वाहिकाओं की असामान्य संरचना वाले लोगों के नाखून नीले पड़ सकते हैं। इसका मुख्य कारण यह है कि शरीर में रक्त का संचारण सही तरीके से नहीं हो पाता, जिससे ऑक्सीजन की कमी होती है।
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फेफड़ों का रोग
अस्थमा, तीव्र श्वसन संकट सिंड्रोम या फेफड़ों में रक्त के थक्के जमा होने पर भी नाखून नीले रहते हैं।
नोट: ऐसे रोग होने पर डॉक्टर से तुरंत इलाज करवाना जरूरी है।
सामान्य ठंड के कारण
कई बार अधिक ठंड के कारण नाखून नीले पड़ जाते हैं। अगर यह समस्या एक-दो बार होती है तो चिंता की आवश्यकता नहीं।
लेकिन बार-बार नीला पड़ना किसी गंभीर स्वास्थ्य समस्या का संकेत हो सकता है, इसलिए इसे अनदेखा न करें।
नाखूनों का नीला पड़नें पर क्या करें?
नीले नाखूनों की समस्या बार-बार होने पर डॉक्टर से जांच करवाएं।
शरीर को ठंड से बचाएं और रक्त प्रवाह को बनाए रखें।
यदि सांस लेने, छाती में दर्द या तेज बुखार जैसी समस्याएं हों, तो फौरन चिकित्सकीय मदद लें।