महिलाओं में कैल्शियम की कमी के 8 संकेत, ये चीजें खाकर पूरी करें कमी

punjabkesari.in Sunday, Jun 28, 2020 - 09:49 AM (IST)

कैल्शियम: हड्डियों के विकास के लिए कैल्शियम बहुत जरूरी है। खासकर प्रेग्नेंट महिलाओं को इसकी बहुत जरूरत पड़ती है क्योंकि मां के कैल्शियम खाने से ही बच्चे को कैल्शियम मिलता है और हड्डियों का विकास होता है। अगर वह पर्याप्त कैल्शियम नहीं लेती तो डिलीवरी के बाद मां के शरीर में भी कमजोरी आने लगती है जो गठिए और कमर दर्द की वजह बन सकती है। रिसर्च की मानें तो भारत में टीनएज लड़कियों में 20 प्रतिशत जबकि 30 के बाद की 70 प्रतिशत महिलाओं में कैल्शियम की कमी पाई गई। बता दें कि 30 साल की उम्र के बाद महिला के शरीर में कैल्शियम की कमी होने लगती है इसलिए ऐसे आहार खाना बहुत जरूरी है जो कैल्शियम का बढ़िया स्त्रोत हो।

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कैल्शियम शरीर के लिए क्यों जरूरी है ?

कैल्शियम, मांसपेशियों को गतिशील बनाता है और शरीर की कोशिकाएं हर पल कार्य करने के लिए सक्रिय रहती है। यह सिर्फ हड्डियां ही नहीं, हाई ब्लड प्रेशर, कैंसर और डायबिटीज से भी बचाव करता है।

कैल्शियम बढ़ती उम्र में क्यों जरूरी है ?

30 के बाद हड्डियों का पूरी तरह से विकास हो जाता है लेकिन कैल्शियम की जरूरत तब भी पड़ती है। प्रत्येक व्यक्ति को प्रतिदिन 1500 मि.ली. कैल्शियम की जरूरत होती है। इस उम्र में कैल्शियम की कमी होने पर हड्डियां कमजोर हो जाती हैं।

महिलाओं में क्यों होती है ज्यादा कमी

पुरूषों के मुकाबले, महिलाओं में कैल्शियम की कमी ज्यादा देखने को मिलती है। ऐसे इसलिए होता है क्योंकि पीरियड्स, प्रेग्नेंसी व मेनोपॉज के समय उनके शरीर में कैल्शियम की खपत बढ़ जाती है। ऐसे में पुरुषों के मुकाबले महिलाओं को 30 की उम्र के बाद कैल्शियम की जरूरत भी ज्यादा होती है

अगर आपके शरीर में कैल्शियम की कमी हो रही हैं तो यह संकेत दिखाई देंगे

हड्डियां कमजोर होना

छोटी-मोटी चोट से हड्डी का टूट जाना, कैल्शियम की कमी का सबसे बड़ा लक्ष्ण है। कई बार औरतों को पीठ में या फिर झांघो में तेज दर्द से गुजरना पड़ता है। साथ ही मासपेशियों में अकड़न और दर्द भी सहता है। रसोई में या घर में कुछ छोटा-मोटा उठाने पर हाथ की कलाई में मोच आ जाना या फिर यूं ही चलते-चलते पैर में मोच आ जाना शरीर में कैल्शियम की कमी की वजह से ही होता है। 

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दांतो में कमजोरी

दूसरा मुख्य लक्ष्ण दांतो में तेज दर्द होना या फिर समय से पहले ही दांतो का टूट जाना कैल्शियम की कमी का ही लक्ष्ण है। कई बार इस कमी की वजह से मसूड़ों में से खून भी निकलना शुरु हो जाता है। 

नाखून कमजोर होना

बिना वजह से नाखून टूटते रहना या फिर नाखूनों पर सफेद दाग भी कैल्शियम की कमी से होते हैं। जिन लड़कियों को दांत चबाने की आदत होती है उनमें भी कैल्शियम की कमी होती है। 

मासिक धर्म में देरी

कैल्शियम की कमी से पीड़ित लड़कियों में माहवारी देरी से शुरु होती है। कई पीरियड्स में देरी खून की कमी को समझ लेते हैं लेकिन ऐसा नहीं होता। किशोरियों में यौवन आने में देरी हो और मासिक धर्म में गड़बड़ी हो तो यह कैल्‍शियम की कमी का संकेत हो सकता है। ऐसी स्थिति में कई किशोरियों को मासिक से पहले काफी पीड़ा भी हो सकती है।

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बालों का झड़ना

बालों के झड़ने की समस्या भी कैल्शियम की कमी की वजह से होती है। कई औरतों के बाल समय से पहले ही सफेद होने लगते हैं। बाल कठोर हो जाते हैं और उनमें रूखापन हो जाता है। इस तरह के लक्षण यदी आपको भी दिखाई दें तो कैल्शियम की कमी की जांच अवश्य करवा लें। 

थकावट महसूस करना

अगर कोई औरत हर समय थकी-थकी महसूस करती है तो 90 प्रतिशत उसमें कैल्शियम की कमी होगी। ऐसा इसलिए होता है क्योंकि कैल्शियम की कमी से मांसपेशियों में हल्का-हल्का दर्द रहता है। जिस वजह से किसी काम को करने का दिल नहीं करता। साथ ही रात को अच्छी नींद भी नहीं आती। 

इम्यूनिटी में कमी 

कैल्शियम की कमी के कारण शरीर की रोग-प्रतिरोधक क्षमता पर भी असर पड़ता है। थोड़ा सा मौसम बदलने पर बीमार पड़ जाना, सिर में दर्द और चिड़चिड़िपन हर वक्त महसूस करना कैल्शियम की कमी के ही लक्ष्ण हैं। 

धड़कन 

कैल्शियम दिल को रक्त पम्प करने में मदद करता है। कैल्शियम दिल को बेहतर काम करने के लिए आवश्यक है और कमी होने पर हमारे दिल की धड़कन बढ़ सकती है और बेचैनी हो सकती है।

कैसे दूर करें कैल्शियम की कमी ?

जिनके शरीर में कैल्शियम की कमी हो, उन्हें अपने आप दवा नहीं लेनी चाहिए और ज्यादा मात्रा में फूड सप्लीमेंट भी नहीं लेने चाहिए। डॉक्टर से सलाह लें और सेहतमंद खानपान के साथ ही सप्लीमेंट लें। हरी सब्जियां, दही, बादाम और पनीर कैल्शियम की कमी को दूर करते हैं। इन सबके अलावा और भी बहुत से आहार हैं जिनका सेवन करके कैल्शियम की कमी को दुर किया जा सकता है। जैसे कि...

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आंवला

आंवला में एंटीऑक्सीडेंट तत्व कैल्शियम की कमी को दूर कर शरीर की रोग-प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाता है। इसे आचार या चटनी किसी भी रुप में बना कर खाया जा सकता है। 

दूध

दूध कैल्शियम का सबसे उत्तम स्त्रोत है। एक कप गर्म दूध लें तथा उसमें एक चम्मच भुने हुए तिल का पाउडर मिलाएं। इसे अच्छे से मिलाएं तथा पीयें। 

जीरा

उबलते पानी में एक चम्मच जीरा डालकर उबालें। ठंडा होने के बाद  इस पानी को दिन में कम से कम दो बार पीयें। इससे शरीर में कैल्शियम की कमी दूर होगी

अदरक

अदरक के 1-2 टुकड़ों को पानी में डालकर उबालें। इसे छान लें तथा इसका स्वाद अच्छा बनाने के लिए इसमें अपने स्वाद के अनुसार शहद मिलाकर पिएं।

अश्वगंधा

अश्वगंधा अपनी एंटीऑक्सीडेंट गुणों के लिए जानी जाती है तथा शरीर में कैल्शियम की कमी को दूर करने में सहायक है।

गुग्गुल

गुग्गुल एक आयुर्वेदिक हर्बल घटक है जो शरीर में कैल्शियम की कमी को दूर करता है। नियमित  250 मिग्रा. से 2 ग्राम तक गुग्गुल का सेवन करने से शरीर में कैल्शियम की कमी दूर होती है।

दही

दही में कैल्शियम प्रचुर मात्रा में पाया जाता है। प्रतिदिन एक कप दहीं का सेवन करने से शरीर को 250-300 मिग्रा. कैल्शियम मिलता है। 


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Content Writer

Vandana

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