प्रेमानंद महाराज की तबीयत बिगड़ी: पदयात्रा रोकनी पड़ी, मायूस होकर लौटे श्रद्धालु

punjabkesari.in Monday, Oct 06, 2025 - 12:01 PM (IST)

नारी डेस्क: वृंदावन के आध्यात्मिक संत प्रेमानंद महाराज की पदयात्रा अनिश्चितकाल के लिए स्थगित कर दी गई है। जानकारी के अनुसार, महाराज पॉलीसिस्टिक किडनी डिजीज नामक आनुवंशिक बीमारी से पीड़ित हैं। पहले उन्हें हर पांच दिन में डायलिसिस करानी पड़ती थी, लेकिन अब उनकी हालत के कारण डायलिसिस रोजाना की जा रही है।

भक्तों में मायूसी का माहौल

केली कुंज आश्रम की ओर से शनिवार को जारी आधिकारिक सूचना में बताया गया कि महाराज का स्वास्थ्य ठीक नहीं है। उनकी नियमित पदयात्रा फिलहाल अनिश्चितकाल के लिए स्थगित कर दी गई है। यह खबर जैसे ही भक्तों तक पहुंची, वृंदावन और देश के विभिन्न हिस्सों में शोक और चिंता का माहौल बन गया।

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रात 2 बजे दर्शन की आदत

प्रेमानंद महाराज हर दिन रात करीब 2 बजे दो किलोमीटर पैदल चलकर रमणरेती स्थित केली कुंज आश्रम पहुंचते थे। यह पदयात्रा उनके भक्तों के लिए एक आध्यात्मिक अनुभव बन चुकी थी। रोजाना हजारों की संख्या में भक्त उनके दर्शन के लिए आते थे।

डायलिसिस की बदलती दिनचर्या

पहले उन्हें 5 दिन में एक बार डायलिसिस करानी पड़ती थी, लेकिन बीते कुछ दिनों से रोजाना डायलिसिस हो रही है। पदयात्रा न करने के कारण भक्तों में चिंता और बढ़ गई है।

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पॉलीसिस्टिक किडनी डिजीज: आनुवंशिक बीमारी

आश्रम सूत्रों के अनुसार, महाराज को यह बीमारी 2006 में हुई थी। पेट में दर्द के बाद जांच में पता चला कि उनकी दोनों किडनियों में सिस्ट हैं। दिल्ली के डॉक्टरों ने बताया कि उनकी दोनों किडनियां खराब हो चुकी हैं।

बीमारी के बावजूद, प्रेमानंद महाराज ने भक्ति और अनुशासन में कभी ढील नहीं दी। पहले वे काशी में रहते थे और शिव भक्ति करते थे। बीमारी के बाद वे वृंदावन आ गए और राधा नाम जप में लीन हो गए। उन्होंने अपनी दोनों किडनियों को कृष्णा और राधा नाम दिया। भक्तों का कहना है कि महाराज ने अपने दर्द को भी भक्ति में बदल दिया है।
 


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Content Editor

Priya Yadav

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