शादी से पहले Anant Ambani की जानवरों के लिए खास पहल, जानिए क्या है Vantara Project?
punjabkesari.in Thursday, Feb 29, 2024 - 12:08 PM (IST)
इन दिनों अंबानी परिवार के घर में जश्न का माहौल है। घर के छोटे बेटे अनंत अंबानी की प्री-वेडिंग की फंक्शन की तैयारियां चल रही हैं। इसी बीच रिलायंस इंडस्ट्रीज ने सोमवार को वनतारा (Vantara) प्रोग्राम को लॉन्च किया। वनतारा प्रोगाम अनंत अंबानी की एक पहल है, जिसमें जानवरों के बचाव, देखभाल, पुनर्वास और इलाज किया जाएगा। वनतारा प्रोग्राम न सिर्फ भारत बल्कि दुनिया के कई देशों में काम कर रहा है। इसे रिलायंस के जामनगर में रिफाइनरी कॉम्प्लेक्स में स्थित 3000 एकड़ के ग्रीन बेल्ट में बनाया गया है। इस ग्रीन बेल्ट में जंगल जैसा माहौल इन जानवरों को उपलब्ध कराया जा रहा है ताकि यहां पर उन्हें घर जैसा महसूस हो।
हेल्थकेयर, हॉस्पिटल, रिसर्च एवं अकादमिक सेंटर बनाया
रिलायंस इंडस्ट्रीज और रिलायंस फाउंडेशन के बोर्ड में डायरेक्टर अनंत अंबानी ने इस प्रोजेक्ट के बारे में बात की है। उनका कहना है कि वनतारा प्रोग्राम के लिए वो जानवरों के लिए बेहतरीन हेल्थकेयर, हॉस्पिटल, रिसर्च और अकादमिक सेंटर खोला है। इस कार्यक्रम के जरिए उन्होंने इंटरनेशनल यूनिवर्सिटी और संस्थाओं से भी हाथ मिलाया है। उनका कहना है कि जामनगर कॉम्प्लेक्स में रिन्यूएबल एनर्जी को बढ़ावा देकर रिलायंस को 2035 तक नेट कार्बन जीरो कंपनी बनाने का उद्देश्य पूरा करना है। वनतारा प्रोग्राम के तहत पिछले कुछ सालों में 200 से ज्यादा हाथियों, पशु- पक्षियों और सरीसृप को बचाया जा चुका है। अब कार्यक्रम के तहत गैंडों, तेदुओं और मगरमच्छों को बचाने के प्रयास भी किए जा रहे हैं। वनतारा ने मेक्सिको और वेनेजुएला में भी बचाव मिशन को अंजाम दिया है।
अनंत ने पैशन को दिया प्रोजेक्ट का रूप
अनंत को हमेशा से जानवरों से प्यार रहा है और इसी को उन्होंने अपना पैशन प्रोजेक्ट बना लिया है। वो कहते हैं कि हम खतरनाक स्थिति में पहुंच चुके जानवरों को बचाने की पूरी कोशिश करेंगे। इस प्रोजेक्ट के तहत वो उनके रहने का भी अच्छा इंतजाम करेंगे। बता दें आज वनतारा में 200 हाथी, 300 तेंदुए, 300 हिरण, 1200 से ज्यादा मगरमच्छा, सांप, कछुए, बाघ, शेर और जगुआर है।
यहां पर होगा खास एलीफेंट सेंटर
3000 एकड़ में फैले वनतारा में स्टेट ऑफ द आर्ट एलीफेंट सेंटर भी होगा। इसमें हाइड्रोथेरेपी पूल, वाटर बॉडी और हाथियों के आर्थराइटिस के इलाज के जकूजी भी होगा। यहां 500 लोगों का प्रशिक्षित हाथियों की देखभाल करेगा। इसमें 25 हजार स्क्वायर फीट का हॉस्पिटल भी होगा। इसमें हर तरह के अधुनिक उपकरण भी मौजूद होंगे, जिससे जानवरों की सर्जरी की जा सकेगी। यहां पर खास 14 हजार स्क्वायर फीट का किचन भी होगा। सेंटर में आयुर्वेद का इस्तेमाल किया जाएगा। बता दें, सेंटर ने अब तक लगभग 200 घायल तेंदुओं और 1000 से ज्यादा मगरमच्छों को बचाया है। वहीं यहां पर एक हॉस्पिटल एवं मेडिकल रिसर्च सेंटर भी है, जहां पर 7 ऐसी प्रजीतियां रखी गईं है जो खतरे के निशान पर पहुंच चुकी हैं।