पेट में 40 साल से पल रहा था ‘पत्थर का बच्चा’, डॉक्टर भी देखकर रह गए हैरान

punjabkesari.in Monday, Aug 25, 2025 - 03:37 PM (IST)

 नारी डेस्क: कोलंबिया से एक बेहद चौंकाने वाला और दुर्लभ मेडिकल केस सामने आया है, जिसमें एक 73 वर्षीय बुजुर्ग महिला के पेट में 40 साल पुराना मृत भ्रूण मिला है। यह भ्रूण अब "पत्थर" बन चुका था, जिसे मेडिकल भाषा में लिथोपेडियन (Lithopedion) कहते हैं। जब महिला को पेट में बार-बार दर्द की शिकायत हुई, तब वे डॉक्टर के पास जांच के लिए गईं। एक्स-रे रिपोर्ट देखकर डॉक्टर भी दंग रह गए।

क्या है 'लिथोपेडियन' या 'स्टोन बेबी'?

लिथोपेडियन एक बेहद दुर्लभ मेडिकल कंडीशन है जिसमें गर्भ में भ्रूण की मौत हो जाती है लेकिन वह शरीर से बाहर नहीं निकल पाता। ऐसे में शरीर संक्रमण से बचने के लिए भ्रूण के चारों ओर कैल्शियम की परत बना देता है और वो समय के साथ "पत्थर" जैसा सख्त हो जाता है। यह स्थिति तब होती है जब गर्भाशय के बजाय भ्रूण पेट में बनता है। पेट में बनने वाले भ्रूण को पूरा पोषण नहीं मिल पाता और वह मर जाता है। लेकिन शरीर उसे बाहर नहीं निकाल पाता। ऐसे में यह पत्थर में बदल जाता है।

40 साल तक महिला को पता ही नहीं चला

इस केस में महिला को दशकों तक कोई गंभीर लक्षण नहीं महसूस हुआ। उन्होंने कभी सोचा भी नहीं था कि उनके पेट में मृत भ्रूण मौजूद है। जब दर्द असहनीय हुआ तो उन्होंने डॉक्टर से संपर्क किया और जांच में यह चौंकाने वाली सच्चाई सामने आई। एक्स-रे में साफ देखा गया कि महिला के पेट में एक लगभग 1.8 किलो वजनी कैल्सीफाइड भ्रूण है। डॉक्टरों ने तुरंत ऑपरेशन कर इस 'पत्थर के बच्चे' को बाहर निकाला।

कितनी दुर्लभ है ये बीमारी?

मेडिकल रिकॉर्ड्स के मुताबिक, अब तक दुनियाभर में लिथोपेडियन के सिर्फ 300 केस ही दर्ज किए गए हैं। यह कंडीशन हर 10,000 प्रेग्नेंसी में सिर्फ 1 बार देखने को मिलती है। 2013 में कोलंबिया की ही एक 82 साल की महिला के साथ भी ऐसा मामला सामने आ चुका है।

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लिथोपेडियन के संभावित लक्षण

पेट के निचले हिस्से में भारीपन या लगातार दर्द

पेट में कोई सख्त गांठ जैसा महसूस होना

पाचन या मूवमेंट में असुविधा

कई बार कोई लक्षण नहीं होते और यह सिर्फ एक्स-रे या सीटी स्कैन में ही सामने आता है

आजकल ऐसे केस क्यों कम होते हैं?

आज के दौर में मॉडर्न मेडिकल जांच, अल्ट्रासाउंड, सोनोग्राफी आदि की वजह से गर्भधारण से जुड़ी किसी भी गड़बड़ी का तुरंत पता चल जाता है। इसलिए अब इस तरह के लिथोपेडियन केस बेहद कम हो गए हैं। पहले के समय में जब तकनीक इतनी विकसित नहीं थी, तब ऐसी समस्याएं आसानी से पकड़ी नहीं जाती थीं।

‘स्टोन बेबी’ यानी लिथोपेडियन एक डरावनी लेकिन बेहद दुर्लभ मेडिकल स्थिति है। यह दिखाता है कि शरीर कैसे खुद को किसी मृत अंग से भी सुरक्षित रखने के लिए प्रयास करता है। इसलिए अगर लंबे समय तक पेट दर्द या कोई अजीब लक्षण नजर आएं, तो तुरंत जांच कराना जरूरी है।

 डिस्क्लेमर: यह लेख केवल सामान्य जानकारी के लिए है। किसी भी स्वास्थ्य समस्या के लिए डॉक्टर की सलाह जरूर लें।  


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Content Editor

Priya Yadav

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