कैसे तय होता है मां दुर्गा का वाहन, जानिए इस बार किस पर सवार होकर आ रही है माता रानी ?
punjabkesari.in Thursday, Mar 27, 2025 - 10:19 AM (IST)

नारी डेस्क: नवरात्रि में मां दुर्गा का आगमन और प्रस्थान विशेष वाहनों पर होता है। हर वर्ष देवी दुर्गा किस वाहन पर आएंगी और किस वाहन से विदा होंगी, इसका निर्धारण हिन्दू पंचांग के अनुसार सप्ताह के दिनों से किया जाता है। देवी का वाहन आने वाले समय का संकेत देता है। इस बार मां दुर्गा हाथी में सवार होकर आएगी, जो बेहद ही शुभ माना गया है।
माता रानी के वाहनों का निर्धारण कैसे होता है?
मां दुर्गा का वाहन सप्ताह के पहले दिन (प्रतिपदा तिथि) और नवमी के दिन (अंतिम तिथि) के आधार पर तय किया जाता है। जैसे आगमन का वाहन प्रतिपदा के दिन के अनुसार निर्धारित होता है तो पहीं विदाई का वाहन नवमी तिथि के दिन के अनुसार तय किया जाता है। उदाहरण के लिए जैसे- यदि नवरात्रि का पहला दिन (प्रतिपदा) सोमवार या रविवार को हो, तो माता रानी हाथी पर आती हैं। यदि पहला दिन शनिवार या मंगलवार को हो, तो माता घोड़े पर सवार होकर आती हैं। नवमी तिथि को यदि शुक्रवार हो, तो देवी का प्रस्थान डोली पर होगा।
देवी के वाहनों का महत्व और संकेत
यदि माता रानी हाथी पर सवार होकर आती हैं, तो इसे समृद्धि और खुशहाली का संकेत माना जाता है। यह वर्ष अच्छी वर्षा, फसल की उन्नति, जल में वृद्धि और सुख-शांति का प्रतीक होता है। यह वाहन आने वाले वर्ष में शांति और खुशहाली का सूचक होता है। माता रानी जब घोड़े पर सवार होकर आती हैं, तो इसे युद्ध, संघर्ष और प्राकृतिक आपदा का प्रतीकमाना जाता है। इस वाहन का आगमन राजनीतिक अस्थिरता, प्राकृतिक आपदाओं और विपत्तियों का संकेत देता है। जब देवी मां डोली पर सवार होकर आती हैं, तो यह बीमारी, महामारी या कष्टकारी समय का संकेत माना जाता है। इस वाहन का अर्थ है कि लोगों को स्वास्थ्य और सुरक्षा का विशेष ध्यान रखना चाहिए। माता का मुख्य वाहन सिंह है, जो शक्ति और साहस का प्रतीक है। देवी दुर्गा का यह वाहन अधर्म का नाश औरसत्कर्म की विजय का संकेत देता है।

2025 चैत्र नवरात्रि में माता रानी का वाहन
2025 में चैत्र नवरात्रि का पहला दिन (प्रतिपदा) 30 मार्च, रविवारको है, जिससे माता रानी का आगमन हाथी पर होगा। हाथी का वाहन सुख-समृद्धि और शांति का संकेत है। नवमी तिथि 7 अप्रैल, सोमवार को है, जिससे माता की विदाई भी हाथीपर होगी। इसका अर्थ है कि इस वर्ष समृद्धि, शांति और फसल की अच्छी पैदावार का संकेत मिलेगा।
माता के आगमन वाहन को देखकर करें उपाय
यदि माता हाथी पर आएं, तो जल का दान करें और गरीबों को भोजन कराएं। यदि घोड़े पर आएं, तो हनुमान चालीसा का पाठकरें और संकट नाश के लिए माता को लाल चुनरी चढ़ाएं। डोली पर आने की स्थिति में महामृत्युंजय मंत्र का जाप करें और स्वास्थ्य का विशेष ध्यान रखें।