टॉयलेट में घंटों बैठकर भी नहीं होता पेट साफ? ये 2 मिनट वाले देसी उपाय दिलाएंगे तुरंत राहत

punjabkesari.in Sunday, Nov 30, 2025 - 04:12 PM (IST)

नारी डेस्क : कब्ज एक ऐसी समस्या है जो किसी की भी दिनचर्या को बिगाड़ सकती है। कई लोग सुबह टॉयलेट में 20–30 मिनट बैठे रहते हैं, लेकिन फिर भी पेट साफ नहीं होता। ऐसे में दवा खाना भी हमेशा राहत नहीं देता। गैस्ट्रोएन्टरोलॉजिस्ट डॉक्टर ने कब्ज से छुटकारा पाने के लिए कुछ आसान, असरदार और वैज्ञानिक तरीके बताए हैं।

सबसे पहले बदलिए टॉयलेट पर बैठने की पोजिशन

कब्ज में राहत पाने का सबसे आसान और असरदार तरीका सही पोज़िशन में बैठना है। टॉयलेट पर बैठते समय पैरों के नीचे एक छोटा स्टूल रख लें, ताकि घुटने कूल्हों से थोड़ा ऊपर आ जाएं। इससे एनोरैक्टल एंगल सीधा हो जाता है, आंतों पर दबाव सही पड़ता है और मल त्याग प्राकृतिक रूप से आसान हो जाता है। यह साधारण सा बदलाव कई लोगों को तुरंत आराम देता है।

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पेट साफ रखने के लिए पानी है सबसे जरूरी

कब्ज से राहत में पानी सबसे अहम भूमिका निभाता है। दिन में कम से कम 8 गिलास पानी पीने की आदत रखें, क्योंकि पानी की कमी से स्टूल सख्त हो जाता है और टॉयलेट जाना मुश्किल हो जाता है। नियमित रूप से गुनगुना पानी पीने से आंतों की मूवमेंट बेहतर होती है और पेट आसानी से साफ हो जाता है।

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रोजाना थोड़ी एक्सरसाइज बनाए पेट की रफ्तार तेज

पाचन तंत्र तब बेहतर काम करता है जब शरीर सक्रिय रहता है। रोज 20–30 मिनट की वॉक, हल्का योग या फिर घर के छोटे-छोटे काम करने से आंतों की मूवमेंट बढ़ती है। इससे खाना बड़ी आंत में आसानी से आगे बढ़ता है और कब्ज की समस्या काफी हद तक कम हो जाती है।

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दवाएं तभी लें जब कोई उपाय काम न करे

लैक्सेटिव यानी रेचक दवाएं हमेशा आखिरी विकल्प के रूप में ही इस्तेमाल करनी चाहिए। अगर इन्हें रोजाना लेने की आदत बन जाए, तो आंतें धीरे-धीरे कमजोर पड़ने लगती हैं और प्राकृतिक रूप से मल त्याग करना मुश्किल हो सकता है। इसलिए पहले पोजिशन, पानी, एक्सरसाइज और डाइट में बदलाव आज़माएं, दवाओं का सहारा केवल ज़रूरत पड़ने पर ही लें।

 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 
 

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मसाज से मिल सकती है तुरंत राहत

अगर कब्ज लंबे समय से परेशान कर रही हो, तो पेट की हल्की मालिश कई लोगों को तुरंत आराम दिला सकती है। पेट के निचले हिस्से पर 2–3 मिनट तक धीरे-धीरे मालिश करने से आंतों की मूवमेंट सक्रिय होती है और स्टूल आगे बढ़ने लगता है। आप चाहें तो घुटनों को हल्का मोड़कर सीने की तरफ खींचकर 1–2 मिनट रुकें, यह पोजिशन पेट के आसपास की जकड़न को ढीला करती है और मल त्याग को आसान बनाती है।

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कब्ज में इन चीजों से दूर रहें

ज्यादा प्रोसेस्ड फूड

फ्राइड फूड, पैकेज्ड स्नैक्स और फास्ट फूड जैसे प्रोसेस्ड आइटम्स में फाइबर बेहद कम होता है। इनमें मौजूद हाई फैट, प्रिज़र्वेटिव्स और रिफाइंड सामग्री आंतों की गति को धीमा कर देती है, जिसके कारण खाना ठीक से आगे नहीं बढ़ पाता। नतीजा पेट भारी लगता है, गैस बढ़ती है और कब्ज की समस्या और ज्यादा गंभीर हो जाती है। इसलिए कब्ज की स्थिति में प्रोसेस्ड फूड से दूरी रखना सबसे बेहतर है।

लगातार बैठे रहना

लंबे समय तक एक ही जगह बैठे रहने से शरीर की मांसपेशियाँ सुस्त पड़ जाती हैं और पाचन प्रक्रिया धीमी होने लगती है। जब आंतों की मूवमेंट कम हो जाती है, तो खाना बड़ी आंत में ज्यादा देर तक रुकता है, जिससे स्टूल सख्त होकर कब्ज की समस्या बढ़ाता है। ऐसे में हर 30–40 मिनट में थोड़ी देर टहलना, स्ट्रेच करना या खड़े होकर हल्की गतिविधि करना बेहद जरूरी है। यह छोटे-छोटे मूवमेंट भी आंतों को सक्रिय रखते हैं और पेट साफ होने में मदद करते हैं।

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मल रोककर रखना

बार-बार इच्छा होने पर भी टॉयलेट रोककर रखने से आंतों में जमी हुई गंदगी और सख्त हो जाती है। इससे मल त्याग मुश्किल हो जाता है और कब्ज की समस्या और बढ़ सकती है। लंबे समय तक यह आदत बवासीर जैसी समस्याओं का कारण भी बन सकती है। इसलिए जैसे ही नैचुरल urge महसूस हो, तुरंत वॉशरूम जाना जरूरी है, ताकि आंतें सही तरह से काम कर सकें और पेट साफ होने में आसानी हो।

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कुछ दवाएं

आयरन सप्लीमेंट, पेनकिलर, एंटी-एलर्जी और कुछ एंटी-डिप्रेशन दवाएं आंतों की गति को धीमा कर देती हैं, जिससे कब्ज बढ़ सकती है। कई बार ये दवाएं स्टूल को सख्त बना देती हैं या आंतों की नॉर्मल मूवमेंट को प्रभावित करती हैं। अगर किसी दवा के बाद कब्ज की समस्या बढ़ रही हो, तो उसे खुद से बंद न करें।डॉक्टर से सलाह लेकर ही दवा में बदलाव या विकल्प अपनाएं।


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Content Editor

Monika

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