कैंसर को खत्म करने वाली वैक्सीन तैयार, क्लिनिकल ट्रायल में दिखाया असर

punjabkesari.in Sunday, Sep 07, 2025 - 05:56 PM (IST)

नारी डेस्क:  कैंसर एक गंभीर बीमारी है जो दुनियाभर में लाखों लोगों की जान लेती है। इसके इलाज को लेकर कई सालों से रिसर्च जारी है। अब रूस से एक बड़ी और उम्मीद भरी खबर सामने आई है। रूसी वैज्ञानिकों ने दावा किया है कि उन्होंने एक ऐसी वैक्सीन विकसित की है जो कैंसर से लड़ने में असरदार साबित हुई है।

रूस की संघीय मेडिकल एजेंसी का दावा

यह वैक्सीन रूस की संघीय मेडिकल एंड बायोलॉजिकल एजेंसी (FMBA) द्वारा विकसित की गई है। एजेंसी की प्रमुख वेरोनिका स्क्वोर्तसोवा ने रूसी मीडिया को जानकारी देते हुए बताया कि यह वैक्सीन अब नैदानिक (क्लिनिकल) उपयोग के लिए तैयार है। यह वैक्सीन mRNA तकनीक पर आधारित है, जो शरीर की इम्यून सिस्टम को कैंसर सेल्स के खिलाफ सक्रिय करती है।

 परीक्षण में मिली सफलता

FMBA प्रमुख के अनुसार, पिछले तीन वर्षों से इस वैक्सीन पर शोध चल रहा था। अब तक हुए प्रीक्लिनिकल परीक्षणों में इस वैक्सीन ने सुरक्षा और प्रभावशीलता दोनों स्तरों पर बेहतर प्रदर्शन किया है। परीक्षणों के दौरान यह पाया गया कि वैक्सीन ने ट्यूमर को छोटा करने और उसकी वृद्धि को रोकने में उल्लेखनीय सफलता पाई।

ट्यूमर को 60-80% तक कम किया

रिसर्च के अनुसार, वैक्सीन ने कैंसर ट्यूमर के आकार को 60 से 80 प्रतिशत तक कम किया है। इसके अलावा यह देखा गया कि वैक्सीन को बार-बार देने पर भी किसी प्रकार का नुकसान नहीं हुआ, जिससे इसे सुरक्षित माना जा रहा है। इस आधार पर इसे क्लिनिकल उपयोग के लिए उपयुक्त समझा गया है।

पर्सनलाइज्ड वैक्सीन होगी

इस वैक्सीन की सबसे खास बात यह है कि इसे हर मरीज के लिए व्यक्तिगत रूप से तैयार किया जाएगा। यानी वैक्सीन को मरीज के अपने RNA के अनुसार अनुकूलित किया जाएगा। यह एक प्रकार की पर्सनलाइज्ड थेरेपी होगी, जो हर व्यक्ति के शरीर और उसकी बीमारी के प्रकार के अनुसार बनाई जाएगी।

मंजूरी के लिए किया गया आवेदन

FMBA ने इस साल गर्मियों में रूसी स्वास्थ्य मंत्रालय के पास इस वैक्सीन को मंजूरी देने के लिए आवेदन किया है। वेरोनिका स्क्वोर्तसोवा ने कहा कि अब वैक्सीन पूरी तरह से उपयोग के लिए तैयार है और केवल सरकारी स्वीकृति का इंतजार है। वैक्सीन से मरीजों के जीवित रहने की दर में सुधार देखा गया है, जिससे इसके जल्दी मंजूरी मिलने की उम्मीद है।

किन कैंसर पर किया जाएगा सबसे पहले इस्तेमाल

इस वैक्सीन का पहला संस्करण कोलोरेक्टल कैंसर के इलाज के लिए बनाया गया है। यह आंतों से संबंधित एक गंभीर प्रकार का कैंसर होता है। इसके अलावा वैज्ञानिक दो और प्रकार के कैंसर के लिए भी वैक्सीन पर काम कर रहे हैं। पहला है ग्लियोब्लास्टोमा, जो एक प्रकार का मस्तिष्क कैंसर है। दूसरा है मेलेनोमा, जो त्वचा से संबंधित कैंसर है। इन दोनों के लिए वैक्सीन अब विकसित होने के एडवांस स्टेज में है।

वैक्सीन से बढ़ेगी रोगी की जीवित रहने की संभावना

FMBA द्वारा किए गए प्रीक्लिनिकल अध्ययन में यह देखा गया कि वैक्सीन से इलाज कराने वाले मरीजों की जीवित रहने की दर में उल्लेखनीय वृद्धि हुई है। इससे उम्मीद की जा रही है कि यह वैक्सीन न केवल कैंसर को रोकने में मदद करेगी, बल्कि इलाज का एक सस्ता और प्रभावी विकल्प भी साबित हो सकती है।
 
रूस द्वारा विकसित  कैंसर वैक्सीन चिकित्सा विज्ञान के क्षेत्र में एक बड़ी उपलब्धि मानी जा रही है। अगर इसे सरकारी मंजूरी मिल जाती है तो यह दुनिया की पहली प्रभावी और पर्सनलाइज्ड कैंसर वैक्सीन बन सकती है। फिलहाल पूरी दुनिया की नजरें इस वैक्सीन पर टिकी हुई हैं, और उम्मीद की जा रही है कि जल्द ही यह आम मरीजों के लिए उपलब्ध होगी।  


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Content Editor

Priya Yadav

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