क्या भारत में आ सकती हैं कोरोना की 3 से ज्यादा लहरें? जानिए विशेषज्ञों की राय
punjabkesari.in Thursday, Jul 15, 2021 - 04:42 PM (IST)
एक बार फिर कोरोना मामलों के जडराने वाले आंकड़े सामने आ रहे हैं। पिछले 24 घंटे में देश में कोरोना के 41,806 नए मामले सामने आए हैं, जिसे देखकर आशंका जताई जा रही है कि तीसरी लहर शुरू होने में ज्यादा समय नहीं है। वैज्ञानिकों की चिंता बढ़ रही है, जोकि स्वभाविक भी है। कोरोना की तीसरी लहर के साथ लोगों के मन में यह सवाल भी उठ रहा है कि आखिर महामारी की कुल कितनी लहर आ सकती है? चलिए आपको बताते हैं कि इस बारे में एक्सपर्ट की राय क्या है।
कोरोना की कुल कितनी लहर आ सकती है?
एक्सपर्ट की मानें तो कोरोना लहर आने की कोई निश्चित संख्या नहीं है, यह लोगों के ऊपर निर्भर करता है। जब तक लोग नियमों का सख्ती से पालन नहीं करेंगे और भीड़ जमा होती रहेगी, बीमारी भी कहीं नहीं जाएगी। हालांकि नियमों का पालन करके या हर्ड इम्यूनिटी विकसित करके इससे बचा जा सकता है, जोकि वैक्सीन से आएगी।
किन राज्यों ने किया शिखर?
SUTRA मॉडल का इस्तेमाल करते हुए वैज्ञानिकों ने भविष्यवाणी की कि साल के अंत तक कोरोना के 1.5 लाख मामले दिखाई दें सकते हैं। वैज्ञानिकों का कहना है कि केरल, दिल्ली, महाराष्ट्र, उत्तर प्रदेश, झारखंड, कर्नाटक, मध्य प्रदेश, हरियाणा, गोवा, राजस्थान, सिक्किम, उत्तराखंड, गुजरात जैसे राज्यों में कोरोना की तीसरी लहर अपने चरम पर होगी।
पहली और दूसरी लहर से लोगों ने नहीं लिया सबक
वैज्ञानिकों का कहना है कि अनलॉक के बाद लोग कोरोना गाइडलाइन्स व नियमों को तोड़ रहें हैं, जोकि असल में उन्हीं की सुरक्षा के लिए बनाए गए हैं। हाल ही में हिमाचल प्रदेश, मनाली, शिमला जैसे हिल स्टेशन की भीड़ को देखकर लगता है कि लोगों ने पहली और दूसरी कोरोना लहर से कुछ नहीं सीखा। राष्ट्रीय स्तर पर आंकड़े फिर बढ़ने लगते हैं और अगर कुछ हफ्तों में कोरोना की तीसरी लहर अपना कहर बरपाएगी।
तीसरी लहर के लिए कितना तैयार देश?
वैज्ञानिकों का कहना है कि टीकाकरण के कारण कम अक्टूबर 2021 तक तीसरी लहर ना आने की उम्मीद है, जिससे स्थिति को संभालने के लिए देश को थोड़ा समय मिल जाएगा। हालांकि पिछले महीनों में ऑक्सीजन सिलेंडर, अस्पताल में बैड की कमी को देखकर लगता है कि भारत को तीसरी लहर के दौरान कड़ी चुनौती का सामना करना पड़ सकता।
बच्चों के लिए खतरनाक हो सकती है तीसरा लहर
कोरोना की दूसरी लहर बच्चों, महिलाओं और युवाओं के लिए घातक साबित हुई। ऐसे में वैज्ञानिकों को चिंता है कि तीसरी लहर भी युवाओं व बच्चों को अपनी चपेट में ले सकती है।
विटामिन-सी कोरोना से लड़ने में मददगार है?
बेशक कोरोना से बचाव में विटामिन सी बहुत मददगार है । यह एक ऐसा एंटीऑक्सीडेंट है, जो इम्यूनिटी बढ़ाने के साथ खून में मौजूद ल्यूकोसाइट व्हाइट ब्लड सेल्स भी बढ़ाता है। हालांकि गोलिया लेने की बजाए आप आंवला, नींबू, संतरा, अमरूद जैसे फलों से इसकी कमी को पूरा कर सकते हैं।
हालांकि कोरोना की चाहे कितनी भी लहर आए, अगर लोग सावधानी बरतेंगे तो निश्चित ही बीमारी से जंग जीत जाएंगे। इसके लिए मास्क पहनना, सोशल डिस्टेसिंग, अच्छा खान-पान जैसे नियमों का पालन करना जरूरी है।