मिर्गी रोग को जड़ से खत्म करते हैं ये योगासन

punjabkesari.in Saturday, Jun 03, 2017 - 05:35 PM (IST)

मिर्गी के लिए योग : मिर्गी एक दिमागी बीमारी है जिसमें रोगी को अचानक दौरा पड़ने लगता है। दौरा पड़ने पर व्यक्ति का दिमागी संतुलन बिगड़ जाता है और उसका शरीर अकड़ जाता है। मिर्गी के रोग को ठीक करने के लिए रोगी कई तरह के इलाज करवाते हैं लेकिन कई बार इससे दौरे पड़ने की स्थिति में फर्क नहीं पड़ता। ऐसे में योगासन करके मिर्गी की समस्या को जड़ से खत्म किया जा सकता है। आइए जानिए ऐसे ही कुछ योग क्रियाओं के बारे में


अनुलोम-विलोम प्राणायाम
PunjabKesariइस आसन को करके मिर्गी की बीमारी से राहत पाई जा सकती है। इसके लिए सबसे पहले सुखासन में बैठ जाएं। अब इस आसन की शुरूआत नाक के बाएं छिद्र से करें। सबसे पहले उंगली की मदद से नाक के दाएं छेद को बंद करें और बाईं तरफ से लंबी सांस लें। इसके बाद बाएं छेद को बंद करके दाईं तरफ से लंबी सांस खींचे। इस पूरी प्रक्रिया को 10-15 मिनट तक दोहराएं। ऐसा करने से दिमाग को ताजी और स्वच्छ हवा मिलती है। इसके अलावा योग के और भी कई आसन हैं जिनसे मिर्गी की बीमारी को हमेशा के लिए खत्म किया जा सकता है।


कपालभाति
PunjabKesariइस आसन में रीढ़ की हड्डी को सीधा करके आराम से बैठ जाएं। अपने दोनों हाथों को घूटनों पर रखें और लंबी सांस अंदर की तरफ लें। इसके बाद सांस छोड़ते हुए अपने पेट को अंदर की ओर खींचे। इससे ताजी हवा फेफडो़ं के रास्ते दिमाग तक पहुंचती है।


ताड़ासन
PunjabKesariइसके लिए सबसे पहले सीधे खड़े हो जाएं और अपनी कमर और गर्दन को सीधा रखें। इसके बाद अपने हाथों को सिर के ऊपर करें और सांस लेते हुअ धीरे-धीरे पुरे शरीर को खींचें। पैर की उंगली से लेकर हाथ की उंगलियों तक खिंचाव बनाएं। इस क्रिया में कुछ समय के लिए बने रहें और सांस लें और छोड़ें।


हलासन
PunjabKesariइस आसन को करने के लिए जमीन पर एक साफ कपड़ा बिछा लें और पीठ के बल लेट जाएं। दोनों पैरों को एक-दूसरे के साथ मिलाकर रखें और हाथों को कमर पर रखें। शरीर को ढीला छोड़ें और हथेलियों से कमर पर दबाव बनाते हुए पीछे की और धकेलें। इससे खून का दौरा दिमाग तक पहुंचता है जिससे मिर्गी के रोग में फायदा होता है।


 


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