नहीं बन रहा काम, घर में रहता है क्लेश? तो समझ लीजिए चल रही है शनि की साढ़े साती

punjabkesari.in Saturday, Sep 13, 2025 - 09:19 AM (IST)

नारी डेस्क: शनिदेव को कर्मफल कहा जाता है, बहुत से लोग साढ़े साती के बारे में सुनते ही परेशान हो जाते हैं।  साढ़ेसाती (Shani Sade Sati) हर उस व्यक्ति को झेलनी पड़ती है, जिसकी जन्मकुंडली में चंद्रमा जिस राशि में होता है, उसके पहले, उसी राशि में और उसके बाद की राशि में शनि का गोचर होता है। ज्योतिष शास्त्र के अनुसार साढ़े सात साल तक चलने वाली दशा को शनि की साढ़े साती की दशा कहा जाता है।

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साढ़ेसाती के बारे में

जब शनि जन्म चंद्र राशि से 12वें भाव में आता है तो साढ़ेसाती की शुरुआत मानी जाती है। जब शनि जन्म चंद्र राशि पर आता है  यह साढ़ेसाती का सबसे कठिन समय होता है। जब शनि जन्म चंद्र राशि से दूसरे भाव में आता है  यह साढ़ेसाती का अंतिम चरण होता है।  इस तरह कुल साढ़े सात साल (7.5 years) तक शनि का प्रभाव बना रहता है।


 शनि की साढ़ेसाती के मुख्य संकेत

नौकरी में बाधा: प्रमोशन रुक जाना या नौकरी छूटने जैसी स्थिति।
व्यापार में घाटा: धन हानि, निवेश फेल होना।
कर्ज बढ़ना: आर्थिक तंगी और उधारी बढ़ जाना।
स्वास्थ्य समस्याएं:  बार-बार बीमार होना, पुरानी बीमारी का बढ़ना।
परिवार में कलह:  रिश्तों में तनाव, विवाद और असहमति।
मानसिक तनाव: बेचैनी, चिंता और नींद की समस्या।
स्वभाव में बदलाव: गुस्सा, चिड़चिड़ापन और नकारात्मक सोच बढ़ना।


किन्हें होता है साढ़ेसाती का साया?

हर व्यक्ति को जीवन में कई बार साढ़ेसाती का सामना करना पड़ता है, क्योंकि शनि एक राशि में लगभग 2.5 साल रहते हैं। जब शनि धीरे-धीरे चंद्र राशि से पहले, उस पर और उसके बाद की राशि में आते हैं, तब लगभग हर राशि वाले को जीवन में कभी न कभी साढ़ेसाती का अनुभव करना ही पड़ता है। उदाहरण: अगर किसी का चंद्रमा मकर राशि में है, तो जब शनि धनु, मकर और कुंभ में होंगे, उस समय उसकी साढ़ेसाती चलेगी।

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साढ़ेसाती से छुटकारा पाने के लिए करें ये गुप्त उपाय

-शनिवार को पीपल के पेड़ की पूजा  करें और दीपक जलाएं।
-काले तिल, उड़द दाल और सरसों का तेल  दान करें।
-काली गाय, काला कुत्ता या कौवे को रोटी खिलाएं।
-शनि मंत्र "ॐ शं शनैश्चराय नमः" का जाप करें।
-शनि देव को सरसों के तेल का दीपक अर्पित करें।
-गरीब और जरूरतमंद लोगों को काला कपड़ा या जूते-चप्पल दान करें।
-हनुमान चालीसा का पाठ करें और हनुमान जी को सिंदूर चढ़ाएं।


सारांश: शनि की साढ़ेसाती कठिनाई लाती है, लेकिन अगर धैर्य, संयम और उचित उपाय किए जाएँ तो इसके नकारात्मक प्रभाव कम हो सकते हैं और व्यक्ति धीरे-धीरे मजबूती और सफलता की ओर बढ़ सकता है।


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vasudha

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