Ozempic किसे नहीं लेना चाहिए? वजन घटाने से पहले जान लें इस इंजेक्शन के गंभीर दुष्प्रभाव

punjabkesari.in Sunday, Dec 14, 2025 - 12:25 PM (IST)

नारी डेस्क: भारत में वजन घटाने को लेकर एक नई दवा तेजी से चर्चा में है ओज़ेम्पिक (Ozempic)। वैसे तो यह दवा मूल रूप से टाइप-2 डायबिटीज के मरीजों के लिए बनाई गई है, लेकिन अमेरिका और यूरोप में इसके वजन घटाने वाले असर को देखकर अब भारत में भी लोग इसे स्लिम होने के लिए इस्तेमाल करने लगे हैं। ऐसे में यह जानना बेहद जरूरी हो जाता है कि ओज़ेम्पिक हर किसी के लिए सुरक्षित नहीं है।

क्या है ओज़ेम्पिक और क्यों हो रहा है इतना ट्रेंड?

ओज़ेम्पिक दरअसल सेमाग्लूटाइड (Semaglutide) नाम की दवा का ब्रांड नेम है, जिसे भारत में Novo Nordisk कंपनी ने लॉन्च किया है। यह एक ऐसा इंजेक्शन है, जिसे हफ्ते में सिर्फ एक बार लगाया जाता है। इसका मुख्य काम शरीर में GLP-1 हार्मोन की नकल करना होता है, जिससे पैंक्रियाज ज्यादा इंसुलिन रिलीज करता है और ब्लड शुगर कंट्रोल में रहती है। साथ ही यह दिमाग को यह संकेत देता है कि पेट भरा हुआ है, जिससे भूख कम लगती है और वजन घटने लगता है।

डायबिटीज की दवा, लेकिन वजन घटाने में इस्तेमाल

हालांकि भारत में ओज़ेम्पिक को केवल डायबिटीज की दवा के तौर पर मंजूरी मिली है, लेकिन विदेशों में इसका इस्तेमाल वजन घटाने के लिए बड़े पैमाने पर हो रहा है। कुछ सेलेब्रिटीज के पतले होने के बाद इस दवा को लेकर चर्चाएं और तेज हो गई हैं।
लेकिन एक्सपर्ट्स साफ कहते हैं कि बिना डॉक्टर की सलाह वजन घटाने के लिए ओज़ेम्पिक लेना खतरनाक हो सकता है।

किन लोगों को बिल्कुल नहीं लेना चाहिए ओज़ेम्पिक?

थाइराइड कैंसर का पारिवारिक इतिहास

जिन लोगों को खुद या उनके परिवार में किसी सदस्य को Medullary Thyroid Carcinoma (MTC) रहा हो, उन्हें ओज़ेम्पिक बिल्कुल नहीं लेना चाहिए। यह दवा थाइराइड से जुड़ी गंभीर समस्याएं बढ़ा सकती है।

MEN Type-2 सिंड्रोम के मरीज

अगर किसी को Multiple Endocrine Neoplasia Syndrome Type-2 (MEN 2) है, तो ओज़ेम्पिक उनके लिए सुरक्षित नहीं मानी जाती। ऐसे मामलों में यह जानलेवा भी साबित हो सकती है।

टाइप-1 डायबिटीज के मरीज

ओज़ेम्पिक सिर्फ टाइप-2 डायबिटीज के लिए बनी है। टाइप-1 डायबिटीज के मरीजों में यह ब्लड शुगर को खतरनाक स्तर तक गिरा सकती है।

18 साल से कम उम्र के बच्चे और किशोर

बच्चों और 18 साल से कम उम्र के लोगों पर ओज़ेम्पिक के प्रभाव को लेकर पर्याप्त रिसर्च नहीं है, इसलिए इस उम्र में इसका इस्तेमाल करना सुरक्षित नहीं माना जाता।

सेमाग्लूटाइड से एलर्जी

अगर किसी व्यक्ति को सेमाग्लूटाइड या इस दवा के किसी घटक से एलर्जी है, तो ओज़ेम्पिक लेने से गंभीर रिएक्शन हो सकता है।

प्रेग्नेंट या स्तनपान कराने वाली महिलाएं

गर्भावस्था के दौरान या बच्चे को दूध पिलाते समय ओज़ेम्पिक का इस्तेमाल भ्रूण और शिशु के लिए नुकसानदायक हो सकता है।

पैंक्रियाज से जुड़ी समस्याएं

जिन लोगों को पहले से पैंक्रियाटाइटिस या अन्य पैंक्रियाज संबंधी दिक्कतें हैं, उनके लिए यह दवा जोखिम बढ़ा सकती है।

पेट और आंतों की गंभीर बीमारियां

अगर किसी को पहले से गैस्ट्रोइंटेस्टाइनल डिसऑर्डर, बार-बार उल्टी, दस्त या पेट की सूजन की समस्या रहती है, तो ओज़ेम्पिक से स्थिति और बिगड़ सकती है।

कब तुरंत बंद कर देना चाहिए ओज़ेम्पिक?

अगर आप ओज़ेम्पिक ले रहे हैं और गर्भधारण की योजना बना रहे हैं, तो डॉक्टरों की सलाह है कि कम से कम 2 महीने पहले इस दवा को बंद कर दें। इसके अलावा अगर लगातार उल्टी, तेज पेट दर्द, अत्यधिक कमजोरी या ब्लड शुगर बहुत ज्यादा गिरने लगे, तो तुरंत डॉक्टर से संपर्क करें।

भारत में ओज़ेम्पिक की कीमत क्या है?

भारत में ओज़ेम्पिक की 0.25 mg डोज की कीमत करीब 2,200 रुपये रखी गई है। यह एक हफ्ते की डोज होती है, यानी महीने में 3 से 4 इंजेक्शन लेने पड़ते हैं, जिससे इसका मासिक खर्च काफी ज्यादा हो सकता है।

वजन घटाने से पहले सोचें जरूर

ओज़ेम्पिक कोई जादुई स्लिमिंग इंजेक्शन नहीं है। बिना सही जांच और डॉक्टर की निगरानी के इसका इस्तेमाल हॉर्मोनल असंतुलन, पाचन संबंधी समस्याएं और गंभीर साइड इफेक्ट्स पैदा कर सकता है। इसलिए वजन घटाने के लिए किसी भी दवा से पहले डाइट, लाइफस्टाइल और मेडिकल सलाह को प्राथमिकता देना सबसे सुरक्षित रास्ता है।

डिस्क्लेमर: यह लेख केवल सामान्य जानकारी के लिए है। किसी भी दवा का इस्तेमाल करने से पहले डॉक्टर की सलाह लेना जरूरी है। 


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Content Editor

Priya Yadav

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