पहलगाम हमले पर Fawad Khan ने तोड़ी चुप्पी, फिल्म बॉयकॉट करने के बीच कह डाली ऐसी बात
punjabkesari.in Thursday, Apr 24, 2025 - 11:27 AM (IST)

नारी डेस्क: भारत के जम्मू-कश्मीर के पहलगाम इलाके में हाल ही में हुए आतंकी हमले ने पूरे देश को झकझोर कर रख दिया है। इस हमले में कई निर्दोष लोगों की जान चली गई, जिसे लेकर देशभर में शोक और गुस्से का माहौल है। आम जनता से लेकर बड़े-बड़े नेता और फिल्मी सितारे तक, सभी इस आतंकी घटना की निंदा कर रहे हैं। इस हमले के बाद बॉलीवुड में भी इसका असर दिखने लगा है। खासतौर पर पाकिस्तानी अभिनेता फवाद खान को लेकर विवाद तेज हो गया है।
फवाद खान की पोस्ट: पीड़ितों के लिए संवेदना
फवाद खान, जो जल्द ही बॉलीवुड फिल्म ‘अबीर गुलाल’ के जरिए वापसी करने वाले हैं, उन्होंने इस हमले पर चुप्पी तोड़ते हुए इंस्टाग्राम स्टोरी पर लिखा “पहलगाम में हुए घिनौने हमले की खबर सुनकर गहरा दुख हुआ। इस भयावह घटना के पीड़ितों के साथ हमारी संवेदनाएं और प्रार्थनाएं हैं और हम उनके परिवारों के लिए इस कठिन समय में शक्ति और उपचार की प्रार्थना करते हैं।”
वाणी कपूर भी हुईं ट्रोल
फिल्म में फवाद की सह-कलाकार वाणी कपूर ने भी इस हमले की निंदा की। उन्होंने सोशल मीडिया पर लिखा, “पहलगाम में निर्दोष लोगों पर हुए हमले को देखकर मैं शब्दों के अभाव में हूं। टूट गई हूं। मेरी प्रार्थनाएं पीड़ित परिवारों के साथ हैं।” हालांकि, इस पोस्ट के बाद वाणी कपूर को भी सोशल मीडिया पर ट्रोल किया जा रहा है।
‘अबीर गुलाल’ फिल्म पर विवाद और MNS का विरोध
फिल्म ‘अबीर गुलाल’ पहले से ही विवादों में घिरी रही है। महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना (MNS) ने पहले ही चेतावनी दी थी कि किसी भी फिल्म में अगर पाकिस्तानी कलाकार होंगे, तो उसे महाराष्ट्र में रिलीज नहीं होने दिया जाएगा। फवाद खान, जिन्होंने ‘कपूर एंड संस’ और ‘ऐ दिल है मुश्किल’ जैसी हिट फिल्मों से भारत में लोकप्रियता हासिल की थी, लंबे समय से किसी बॉलीवुड फिल्म में नजर नहीं आए हैं। इस बार भी उनकी वापसी पर विवाद गहराता जा रहा है।
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इस हमले के बाद मोदी सरकार ने पाकिस्तान के खिलाफ सख्त कदम उठाए हैं।
सिंधु जल संधि को किया गया स्थगित: भारत ने 1960 की सिंधु जल संधि को तत्काल प्रभाव से रोक दिया है। सरकार का कहना है कि यह संधि तब तक प्रभावी नहीं होगी जब तक पाकिस्तान सीमा पार आतंकवाद को समर्थन देना बंद नहीं करता।
अटारी इंटीग्रेटेड चेक पोस्ट बंद: भारत-पाकिस्तान के बीच मौजूद अटारी चेक पोस्ट को भी बंद कर दिया गया है। जिन लोगों के पास वैध अनुमति है और जो इस रास्ते से भारत आए हैं, उन्हें 1 मई से पहले इसी रास्ते से वापस जाना होगा।
SAARC वीज़ा छूट योजना पर रोक: अब से SAARC वीज़ा छूट योजना (SVES) के तहत किसी भी पाकिस्तानी नागरिक को भारत यात्रा की इजाजत नहीं दी जाएगी। पहले से जारी सभी वीज़ा निरस्त कर दिए गए हैं। जो पाकिस्तानी नागरिक SVES वीज़ा पर इस समय भारत में हैं, उन्हें 48 घंटे के भीतर देश छोड़ना होगा।
पाक उच्चायोग के सैन्य अधिकारियों को भारत छोड़ने का आदेश: नई दिल्ली स्थित पाकिस्तानी उच्चायोग में काम कर रहे रक्षा, नौसेना और वायुसेना सलाहकारों को ‘पर्सोना नॉन ग्राटा’ घोषित किया गया है। उन्हें एक हफ्ते के अंदर भारत छोड़ना होगा। इसी के साथ भारत ने इस्लामाबाद स्थित अपने उच्चायोग से भी ऐसे अधिकारियों को वापस बुलाने का फैसला लिया है।
उच्चायोग स्टाफ की संख्या घटाई जाएगी: भारत और पाकिस्तान के उच्चायोगों में काम कर रहे कर्मचारियों की संख्या को 55 से घटाकर 30 किया जाएगा। यह प्रक्रिया 1 मई तक पूरी कर ली जाएगी।
जहां एक तरफ केंद्र सरकार ने पाकिस्तान के खिलाफ सख्त फैसले लेकर यह साफ कर दिया है कि अब आतंक के खिलाफ कोई ढील नहीं दी जाएगी, वहीं दूसरी ओर देश की जनता भी अब कलाकारों और फिल्म उद्योग में पाकिस्तानी भागीदारी को लेकर सवाल उठा रही है।