बच्चों की पढ़ाई की आदतें संकट में, सर्वेक्षण से सामने आई चौंकाने वाली गिरावट!

punjabkesari.in Thursday, Nov 07, 2024 - 04:23 PM (IST)

नारी डेस्क: क्या आपने कभी सोचा है कि बच्चों की पढ़ाई की आदतें कितनी बदल गई हैं? हाल ही में किए गए एक सर्वेक्षण ने चिंता का कारण बना दिया है। 2024 में किए गए इस सर्वेक्षण के मुताबिक, बच्चों की पढ़ाई में रुचि रिकॉर्ड निचले स्तर तक गिर चुकी है। राष्ट्रीय साक्षरता ट्रस्ट (एनएलटी) द्वारा किए गए इस अध्ययन से सामने आया है कि सिर्फ 34.6% बच्चे अब अपने खाली समय में पढ़ाई का आनंद लेते हैं, जो पिछले साल के मुकाबले 8.8% कम है। यह आंकड़ा बच्चों में पढ़ाई के प्रति उत्साह की गंभीर कमी को दर्शाता है, जो शिक्षा के भविष्य के लिए एक बड़ी चिंता का कारण बन सकता है। अगर हम बात करें बच्चों की पढ़ाई की आदतों के बारे में, तो सर्वेक्षण से यह भी पता चला कि बच्चों की दैनिक पढ़ाई की आदत में भी भारी गिरावट आई है। केवल 20.5% बच्चे अब प्रतिदिन पढ़ाई करते हैं, जो 2005 के बाद से सबसे कम आंकड़ा है। इससे यह स्पष्ट होता है कि बच्चों के बीच पढ़ाई के प्रति रुझान में निरंतर कमी आ रही है, और यह स्थिति चिंता का विषय बन चुकी है। इस गिरावट का असर न केवल बच्चों की शैक्षिक प्रगति पर पड़ेगा, बल्कि आने वाली पीढ़ी के लिए एक बड़ी चुनौती बन सकती है।

सर्वेक्षण में 76,000 से अधिक प्रतिक्रियाएं

इस सर्वेक्षण में 8 से 18 वर्ष के बच्चों और युवाओं से 76,131 प्रतिक्रियाएं प्राप्त की गईं। सर्वेक्षण में बच्चों की पढ़ने की आदत, उनके पढ़ने के समय, और उनके द्वारा महसूस किए गए आनंद को मापा गया। इस सर्वेक्षण के परिणाम ने यह स्पष्ट किया कि बच्चों में पढ़ाई के प्रति रुचि में नाटकीय गिरावट आई है।

PunjabKesari

पढ़ाई में रुचि का प्रतिशत गिरा

इस वर्ष के सर्वेक्षण के अनुसार, 8 से 18 वर्ष के बच्चों में से केवल 34.6% बच्चे ही अपने खाली समय में पढ़ाई को पसंद करते हैं। यह पिछले वर्ष की तुलना में 8.8% की कमी को दर्शाता है। साथ ही, केवल 20.5% बच्चे रोजाना पढ़ाई करते हैं, जो अब तक का सबसे निचला स्तर है।

लड़कियों और लड़कों में असमान प्रभाव

सर्वेक्षण के अनुसार, पढ़ाई में रुचि में गिरावट विशेष रूप से लड़कों के बीच देखी गई है। रिपोर्ट में यह भी कहा गया कि लड़कियों की तुलना में लड़कों में पढ़ने के प्रति रुचि कम हो गई है, जिससे यह और भी चिंताजनक बनता है।

PunjabKesari

पढ़ाई का आनंद और नियमितता में कमी

एनएलटी के मुख्य कार्यकारी जोनाथन डगलस ने इस गिरावट को लेकर चिंता व्यक्त की है और कहा कि "अब तक के सबसे निम्न स्तर पर बच्चों में पढ़ाई का आनंद देखा जा रहा है।" उन्होंने यह भी बताया कि बड़ी संख्या में बच्चे आवश्यक पठन कौशल के बिना ही प्राथमिक और माध्यमिक विद्यालय छोड़ रहे हैं, जिससे भविष्य में शिक्षा पर गंभीर असर हो सकता है।

क्या इसका असर बच्चों के भविष्य पर पड़ेगा?

रिपोर्ट में यह भी निष्कर्ष निकाला गया है कि "पढ़ाई का आनंद और नियमित पढ़ाई की आवृत्ति में गिरावट चिंताजनक है।" यदि यह प्रवृत्ति जारी रहती है, तो यह बच्चों के शैक्षिक और मानसिक विकास के लिए नुकसानदेह हो सकता है।

PunjabKesari

 बच्चों में पढ़ाई की आदतें सुधारने की जरूरत

इस सर्वेक्षण के परिणाम बच्चों की शिक्षा नीति पर सवाल उठाते हैं और इसके लिए शिक्षकों, अभिभावकों और स्कूलों को मिलकर प्रयास करने की आवश्यकता है। पढ़ाई के प्रति रुचि और नियमितता को बढ़ाने के लिए नए तरीके और प्रेरक कार्यक्रमों की आवश्यकता महसूस हो रही है।
 

 


सबसे ज्यादा पढ़े गए

Content Editor

Priya Yadav

Related News

static