ब्लड टेस्ट से 10 साल पहले ही पकड़ा जा सकेगा कैंसर, वैज्ञानिकों ने बनाई नई तकनीक
punjabkesari.in Wednesday, Sep 10, 2025 - 12:22 PM (IST)

नारी डेस्क: कैंसर एक ऐसी बीमारी है जो अक्सर तब सामने आती है जब वह काफी बढ़ चुकी होती है। लेकिन अब वैज्ञानिकों ने एक नई तकनीक विकसित की है, जिससे कैंसर का पता उसके लक्षण दिखने से 10 साल पहले ही लगाया जा सकेगा। अमेरिका के Mass General Brigham अस्पताल के वैज्ञानिकों ने एक नया ब्लड टेस्ट तैयार किया है, जिसका नाम HPV-DeepSeek है। यह टेस्ट खासतौर पर सिर और गर्दन से जुड़े कैंसर की पहचान के लिए बनाया गया है, जो HPV वायरस के कारण होते हैं।
क्या है HPV DeepSeek टेस्ट?
HPV DeepSeek एक ब्लड बेस्ड टेस्ट है जो खून में मौजूद एचपीवी वायरस से जुड़े डीएनए के अति सूक्ष्म टुकड़ों की पहचान करता है। जब शरीर में कैंसर की शुरुआत होती है, तो ये डीएनए टुकड़े खून में आ जाते हैं, भले ही उस समय कोई लक्षण न दिखे। यह टेस्ट इन टुकड़ों को पहचानकर पहले ही बीमारी की ओर इशारा कर देता है।
Prostate-Specific Antigen (PSA) Test
— Satyendra Dhar, MD SFHM (@DharSaty) February 19, 2025
👉Total PSA (tPSA):
🔹Measures overall PSA levels in the blood.
🔹Used as the primary screening test.
👉Free PSA (fPSA):
🔹Measures unbound PSA.
🔹Lower free PSA % suggests a higher cancer risk.
👉PSA Density (PSAD):
🔹Adjusts PSA levels… pic.twitter.com/WzJQ8l1CbV
टेस्ट की सटीकता कितनी है?
इस टेस्ट को जांचने के लिए शोधकर्ताओं ने 56 लोगों के खून के नमूनों का विश्लेषण किया। इनमें से 28 नमूने उन लोगों के थे, जिन्हें बाद में एचपीवी-संबंधित सिर और गर्दन का कैंसर हुआ। बाकी 28 नमूने स्वस्थ व्यक्तियों के थे। परीक्षण में यह पाया गया कि कैंसर वाले 28 में से 22 लोगों के खून में कैंसर से जुड़े एचपीवी डीएनए की मौजूदगी पहले ही पकड़ ली गई। स्वस्थ लोगों में कोई भी गलत पॉजिटिव रिपोर्ट नहीं आई।
कुछ मामलों में कैंसर का संकेत 7.8 साल पहले ही मिल गया था। इसके बाद, मशीन लर्निंग की मदद से टेस्ट को और ज्यादा संवेदनशील बनाया गया, जिससे यह 28 में से 27 मामलों में सही साबित हुआ, जब सैंपल कैंसर की पहचान से 10 साल पहले लिए गए थे।
विशेषज्ञों की राय
इस अध्ययन के मुख्य लेखक और हेड एंड नेक कैंसर सर्जन डॉ. डैनियल एल. फेडेन ने कहा "जब मरीज कैंसर के लक्षणों के साथ हमारे पास आते हैं, तब तक बीमारी इतनी बढ़ चुकी होती है कि उन्हें ऐसे उपचार की ज़रूरत होती है जो लंबे समय तक प्रभाव छोड़ते हैं। HPV DeepSeek जैसे टेस्ट हमें कैंसर को उसकी प्रारंभिक अवस्था में पकड़ने में मदद कर सकते हैं, जिससे इलाज आसान और प्रभावी हो सकता है।"
एचपीवी वायरस से जुड़ा खतरा कितना बड़ा है?
अमेरिका में लगभग 70% सिर और गर्दन के कैंसर HPV वायरस के कारण होते हैं। अभी तक इस प्रकार के कैंसर के लिए कोई विश्वसनीय स्क्रीनिंग टेस्ट मौजूद नहीं था। ऐसे में यह नई तकनीक एक बड़ी सफलता मानी जा रही है।
यह टेस्ट कैसे काम करता है?
HPV DeepSeek टेस्ट Genomic Sequencing तकनीक पर आधारित है, जो खून में कैंसर से जुड़े डीएनए टुकड़ों को पहचानने में सक्षम है। यह एक प्रकार की Liquid Biopsy है, जिसका मतलब है कि कैंसर की जानकारी अब शरीर में कटिंग या बायोप्सी के बिना, सिर्फ एक ब्लड सैंपल से ही मिल सकती है।
Choose HPV DNA testing for Early Cervical Cancer detection!
— Oak Diagnostic Center (@Oak_DiagnosticC) September 6, 2025
This test detects cervical cancer risk earlier and more accurately than other methods.
It’s Quick✅, Simple ✅ and Affordable ✅.
The smarter and modern way to screen for cervical cancer. pic.twitter.com/umNPb6SlFN
भारत में क्या संभावनाएं हैं?
फिलहाल यह रिसर्च अमेरिका में ही लागू की जा रही है, लेकिन अगर यह तकनीक और भी ज्यादा सफल साबित होती है, तो जल्द ही यह भारत समेत अन्य देशों में भी लागू की जा सकती है। भारत में भी सिर और गले के कैंसर के मामले लगातार बढ़ रहे हैं, ऐसे में यह टेस्ट समय रहते बीमारी पकड़ने में बेहद कारगर हो सकता है।
HPV DeepSeek ब्लड टेस्ट कैंसर की जांच के क्षेत्र में एक क्रांतिकारी कदम है। इसकी मदद से बीमारी को लक्षणों से काफी पहले पहचाना जा सकता है, जिससे समय पर और कम जटिल इलाज संभव हो सकेगा। यह तकनीक ना सिर्फ जीवन बचा सकती है, बल्कि इलाज के खर्च और मानसिक तनाव को भी काफी हद तक कम कर सकती है