दुनिया का सबसे बड़ा स्टैच्यू, जानें वल्लभ भाई पटेल से कैसे बनें 'सरदार पटेल'

punjabkesari.in Thursday, Nov 01, 2018 - 11:36 AM (IST)

सरदार वल्लभ भाई पटेल का जन्म 31 अक्टूबर 1875 को गुजरात के नाडियाद में हुआ था। भारत की आजादी के बाद वह पहले उप-प्रधानमंत्री और गृह मंत्री थे। हर साल इस दिन उनकी जयंती मनाई जाती है लेकिन इस बार उनकी 143 वीं जयंती पर 182 मीटर ऊंची प्रतिमा बनाई गई। जिसका अनावरण प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने किया। यह 'स्टैच्यू ऑफ यूनिटी' (Statue of Unity) दुनिया की सबसे ऊंची प्रतिमा है।

इस मूर्ति की खासीयत
यह प्रतिमा नर्मदा नदी पर सरदार सरोवर बांध से 3.5 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है।  'स्टैच्यू ऑफ यूनिटी' को बनाने में 250 इंजीनियर, 3,400 मजदूर और 4 साल लगे।  अब यह दुनिया की सबसे ऊंची सरदार पटेल की प्रतिमा है। दूसरे स्थान पर चीन में स्प्रिंग टेंपल में बुद्ध की मूर्ति है, जिसकी ऊंचाई 153 मीटर है। 

कैसे वल्लभ भाई पटेल से बनें सरदार वल्लभ भाई पटेल 
देश की आजादी में वल्लभ भाई पटेल का बहुत खास योगदान है। 1928 में गुजरात में बारडोली सत्याग्रह का वल्लभ भाई पटेल ने नेतृत्व किया था। किसानों के लिए यह प्रमुख आंदोलन था, किसानों के लिए बढ़ाए गए लगान को लेकर वल्लभ भाई पटेल ने सरकार की मनमानी पर कड़ा विरोध किया था। उनकी इन कोशिशों के आगे सरकार को छुकना पड़ा और लगान 30 फीसदी की बजाए 6 फीसदी रह गया। इस सफलता के बाद महिलाओं ने वल्लभ भाई पटेल को 'सरदार' की उपाधि दी। 

सरदार पटेल ने किया 562 देशी रियासतों का एकीकरण
भारत देश पहले अलग-अलग रियासतों में बंटा हुआ था। सरदार वल्लभ भाई पटेल ने 562 रियासतों का भारत में विलय करवाया था। ब्रिटिश शासन द्वारा जो भारत का नक्शा खींचा गया था, उसकी लगभग 40 प्रतिशत भूमि इन्ही रियासतों के पास थी। सरदार पटेल ने अपनी देशभक्ति की भावना और दूरदर्शिता से इन रियासतों का भारत में विलय करवाया था। 


 

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Priya verma