नारी शक्ति गढ़ेगी एक और कीर्तिमान, इस बार 26 जनवरी को दिखेगी महिला जवानों की झांकी
punjabkesari.in Tuesday, Jan 10, 2023 - 01:18 PM (IST)
भारत में नारी को शक्ति का रूप माना गया है। ये नारी शक्ति दुश्मनों से ना सिर्फ देश की रक्षा कर रही हैं बल्कि उनको मुंहतोड़ जवाब देने में पीछे नहीं है। राष्ट्र रक्षा के मोर्चे पर देश की कई बेटियां अपना फ़र्ज़ निभा रही हैं, चाहे राफेल पर सवार होकर आसमान की ऊंचाइयां नापने की बात हो या फिर 10 हजार फीट की ऊंचाई से साहस की छलांग लगानी की हो।
अपनी जिम्मेदारी निभा रही हैं बेटियां
बेटियां अलग-अलग रूपों में अपनी जिम्मेदारी निभा रही हैं, तभी तो देश की नारी शक्ति इस बार गणतंत्र दिवस की परेड में अपनी जांबाजी दिखाएंगी। अधिकारियों से मिली जानकारी के अनुसार केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (सीआरपीएफ) की महिला पथ संचलन एवं बैंड टुकड़ी राष्ट्रीय राजधानी में आगामी गणतंत्र दिवस परेड का हिस्सा होगी। यह टुकड़ी फिलहाल कर्तव्य पथ पर 26 जनवरी के इस राष्ट्रीय कार्यक्रम के लिए अभ्यास कर रही है।
‘महिला सशक्तीकरण' के विषय पर निकलेगी झांकी
बताया जा रहा है कि टुकड़ी को उगणतंत्र दिवस 2023 के लिए केंद्र सरकार द्वारा तय किये गये ध्येय वाक्य ‘नारी शक्ति' के तहत शामिल किया गया है। सीआरपीएफ के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि देश का सबसे बड़ा अर्धसैनिक बल केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल ‘महिला सशक्तीकरण' के विषय पर एक झांकी भी तैयार कर रहा है। इसमें केंद्रीय सशस्त्र पुलिस बल (सीएपीएफ) की सभी शाखाएं को जगह मिलेगी। सीआरपीएफ में करीब 3.25 लाख कर्मी हैं।
महिलाओं को प्रोत्साहित कर रही है सीआरपीएफ
सीआरपीएफ के अलावा अन्य सीएपीएफ सीमा सुरक्षा बल (बीएसएफ), भारत -तिब्बत सीमा पुलिस (आईटीबीपी), सशस्त्र सीमा बल (एसएसबी) और केंद्रीय औद्योगिक सुरक्षा बल हैं और उन सभी में महिला कर्मी हैं। भारत की सैन्य ताकत और सांस्कृतिक वैविध्य को प्रदर्शित करने वाला यह परेड हर साल 26 जनवरी को कर्तव्य पथ पर निकाला जाता है और यह राष्ट्रपति भवन से इंडिया गेट होते हुए लाल किले तक जाता है। देश की अंदरुनी सुरक्षा से जुड़ा मुख्य बल सीआरपीएफ को मोटे तौर पर वामचरमपंथ के खतरे का मुकाबला करने, जम्मू कश्मीर में आतंकवादी विरोधी अभियानों और पूर्वोत्तर में उग्रवाद विरोधी अभियानों में तैनात किया जाता है।
हर जगह तैनात है महिलाएं
बता दें कि अर्द्ध सैनिक बलों में केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल ही एकमात्र ऐसा बल है जिसमें 5 महिला बटालियन हैं। वर्तमान में महिला कार्मिक जम्मू-कश्मीर, अयोध्या, मणिपुर, असम और देश के विभिन्न भागों में सक्रिय ड्यूटी पर तैनात हैं, जहां वे प्रशंसनीय कार्य कर रही हैं। साथ ही प्रत्येक आर.ए.एफ. बटालियन में 96 महिला कार्मिक भी होते हैं।