Inspiration: पिता को मार गया लकवा तो बेटियों ने शुरू किया नाई का काम

punjabkesari.in Tuesday, May 14, 2019 - 07:10 PM (IST)

आपने आजतक सिर्फ मर्दों को ही नाई की दुकान पर शेविंग और बाल काटते देखा होगा। मगर आज हम आपको उत्तर प्रदेश में रहने वाली दो ऐसी बहनों के बारे में बताने जा रहे हैं, जो नाई की दुकान पर काम करके लिंग संबंधी रुढ़ियों पर सवाल खड़े कर रही हैं। नाई की दुकान पर मर्दों की शेविंग और चंपी करने वाली ये लड़कियां उनके लिए मिसाल है, जो आज भी खुद को पुरूषों से कम आंकती हैं।

 

विज्ञापन के जरिए बताई कहानी

26 अप्रैल को जिलेट (ब्लेड कंपनी) ने अपने यूट्यूब पेज पर एक विज्ञापन (Ad) दिया था, जिसके जरिए 'लड़के तो लड़के ही रहेंगे' जैसे धारणाओं को चुनौती थी। यह विज्ञापन उन दो लड़कियों की कहानी पर अधारित था, जो बचपन से नाई का काम संभाल रही है। इंटरनेट पर जमकर वायरल हुए इस एड को लेकर कई विवाद भी खड़े हुए थे।

वीडियो में पुराने वक्त से चले आ रहे महिलाओं और पुरुषों के अलग-अलग काम को दिखाया गया है। मसलन पुरुष कुश्ती करते हैं, व्यापार पर उन्हें हक मिलता है तो महिलाओं के जिम्मे पानी लाना और चूल्हा-चौका जैसे काम हैं। इस विज्ञापन का ध्यान लोगों का ध्यान उन काम की तरफ खींचना है, जो महिलाओं के लिए नहीं बने।

पिता की खराब तबीयत के कारण उठाया उस्तरा

बता दें कि यह दो लड़कियां उत्तर प्रदेश के बनवारी टोला जिले की रहने वाली है। नेहा और ज्योति के पिता ध्रुव नारायण को लकवा मारा था। उस वक्त नेहा की उम्र 11 साल थी और ज्योति की 13 साल। पिता के इलाज और खुद की पढ़ाई के लिए नेहा और ज्योति को नाई का काम शुरू करना पड़ा। पिता ने दुकान का नाम (नेहा ज्योति पार्लर) भी अपनी बेटियों के नाम पर ही रखा है। वह इन दुकान में काम कर ना सिर्फ पिता का ख्याल रख रही हैं बल्कि अपनी पढ़ाई का खर्च भी उठाती हैं।

शेविंग से लेकर चंपी तक का करती हैं काम

दोनों लड़कियां ना सिर्फ लड़कों की तरह ड्रैसअप करती हैं बल्कि वह नाई की तरह मर्दों की शेविंग, चंपी और हेयर कट का काम भी करती हैं। उन्होंने बताया कि शुरूआत में उन्हें काफी परेशानी होती थी लेकिन बाद में लोगों ने उन्हें स्वीकार कर लिया।

उस्तरे को क्या पता कि चलाने वाला लड़का है या लड़का

बात अगर विज्ञापन की करें तो तो इसमें बताया गया है कि पिता का पेशा लड़के को विरासत में मिलता है। मगर लड़कियों को विरासत में गृहस्थी, रसोई और घर की जिम्मेदारियां दी जाती हैं। इसके बाद एक पिता लड़के के साथ नाई की दुकान में जाता है। वीडियो में दुकान में लड़की को नाई का काम करते देख बच्चा अपने पिता से पूछता है- बापू ये लड़की होकर उस्तरा चलाएगी? इस पर पिता कुछ सोचते हुए जवाब देता है- अरे बेटा उस्तरे को क्या पता कि चलाने वाला लड़का है या लड़की? इसके बाद लड़की शेविंग करनी शुरू कर देती है।

बॉलीवुड स्टार्स भी कर रहे तारीफ

सोशल मीडिया पर वायरल होने के बाद बॉलीवुड सेलेब्स भी उन लड़कियों की तारीफ किए बिना नहीं रह पाए। दंगल गर्ल फातिमा सना शेख, सान्या मल्होत्रा, राधिका आप्टे और हेयरस्टाइलिस्ट आलिम हकीमने उन लड़कियों की जमकर तारीफ की। एक्टर फरहान अख्तर ने लिखा है कि दोनों लड़कियों ने दिल छू लिया। पिता और गांव के लोगों को सलाम, जिन्होंने इनको सपोर्ट किया।

इतना ही नहीं, दोनों बच्चियों ने तो करण कुद्रां, फरहान अख्तर और सचिन तेंदुलकर की शेविंग तक की।

वहीं एक्ट्रेस स्वरा भास्कर ने भी अपने इंस्टाग्राम पर इनका ये वीडियो शेयर किया है। और इनकी काफी तारीफ भी की है।

सचिन तेंदुलकर ने स्पॉनसर की लड़कियों की पढ़ाई

भारतीय क्रिकेटर सचिन तेंदुलकर ने ना सिर्फ इन लड़कियों के काम को सहारा बल्कि उनकी पढ़ाई का जिम्मा भी अपने सिर पर ले लिया।

Content Writer

Anjali Rajput