Ruveda Salam: बंदूकों के खौफ में बिता बचपन पर नहीं मानी हार, बन गईं कश्मीर की पहली महिला IPS

punjabkesari.in Thursday, Feb 09, 2023 - 01:09 PM (IST)

मंजिल पाने के लिए बुलंद हौसले के साथ मेहनत और लगन की जरुरत होती है। फिर रास्ते में तमाम मुश्कलें भी आपको कामयाब होने से नहीं रोक सकती हैं। ठीक ऐसा ही सफलता की कहानी है कश्मीर की पहली महिला आईपीएस ऑफिसर डॉ. रुवेदा सलाम की है।

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पिता चाहते थे बेटी बने आईपीएस ऑफिसर

कश्मीर के कुपवाड़ा की रहने वाली रुवेदा बचपन से होनहार थीं। उनके पिता चाहते थे बेटी पढ़ लिखकर आईपीएस अधिकारी बने। अपने पिता के सपने को सच करने के लिए वो मेहनत और लगन से पढ़ाई करती रहीं, हालांकि, उनके लिए यह सपना पूरा करना आसान नहीं था। घाटी के हालातों से हर कोई वाकिफ है। बंदूकों के खौफ के बीच रुवेदा ने तमाम मुश्किलों का डट कर मुकाबला किया और पहले डॉक्टर बन गईं।

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डॉक्टर बनने के बाद क्लियर किया यूपीएससी

बता दें, रुवेदा ने श्रीनगर के मेडिकल कॉलेज से  एमबीबीएस की डिग्री हासिल की हुई है। इसके बाद सिविल सर्विसेज की तैयारी करने लगीं। साल 2013 में रुवेदा ने यूपीएससी क्लियर करके इतिहास रच दिया। वो कश्मीर की पहली महिला आईपीएस बनीं, जिसके बाद उन्होनें हैदराबाद से ट्रेनिंग ली। आज आईपीएस ऑफिसर बनकर रुवेदा देश की सेवा कर रही हैं और कश्मीर की कई लड़कियों के लिए प्रेरणा भी हैं।

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जी-20 सम्मेलन में हुई हैं शामिल

ऑस्ट्रेलिया के सिडनी में हुए जी-20 सम्मेलन में भी उन्होंने भारत का प्रतिनिधित्व बनकर हिस्सा लिया और देश का नाम गर्व से ऊपर किया है। उन्होंने इस सम्मेलन में यह भी बताया था कि उनका बचपन कश्मीर में आतंक के माहौल को देखकर गुजरा था और कई बार इस वजह से उनका स्कूल भी बंद कर दिया जाता था।इन सभी चीजों ने उनके जीवन को बहुत प्रभावित किया लेकिन फिर भी उन्होंने हार नहीं मानी और अपनी मेहनत से सफलता हासिल की थी। आईपीएस रुवेदा सलाम की कहानी जानकर यह पता चलता है कि हमें बस अपने लक्ष्यों के लिए प्रयास जारी रखना चाहिए और हर परेशानी को पार करके आगे बढ़ते रहना चाहिए। अपनी मेहनत और लगन से न सिर्फ उन्होनें अपने पिता का सपना पूरा किया, बल्कि दूसरों के लिए भी मिसाल  बन गई हैं। 

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Content Editor

Charanjeet Kaur

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