30 के बाद मां बनने की सोच रही हैं तो पहले जान लें इसके नुकसान

punjabkesari.in Saturday, Dec 07, 2019 - 01:33 PM (IST)

औरतों के बीच अकसर यह मुद्दा उठता है कि आखिर गर्भधारण करने के लिए सही उम्र कौन सी होती है। ज्यादातर महिलाओं को गर्भधारण के लिए 30 साल की उम्र सही लगती है लेकिन बता दें कि इस उम्र के बाद मां बनने से बच्चे में दिल की बीमारियों का खतरा हो सकता है। जी हां, ज्यादा उम्र की महिलाओं से जन्मे बच्चों में दिल की बीमारियों का खतरा ज्यादा होता है। हाल ही में हुए एक शोध के मुताबिक, उम्रदराज माताओं के गर्भनाल में होने वाले बदलाव के कारण उनसे जन्में बच्चों को आगे चलकर नुकसान पहुंच सकता है।

 

35 के बाद मां बनना मुश्किल

शोध के मुताबिक, 35 की उम्र के ऊपर मां बनने वाली महिलाओं के बेटों के साथ ऐसी समस्या हो सकती है। हालांकि शोध में पाया गया कि देर से मां बनने वाली महिलाओं के बेटों को तो इसके नकारात्मक परिणाम भुगतने पड़े लेकिन बेटियों में ऐसा कुछ भी नहीं मिला, बल्कि उनमें कुछ फायदा ही देखा गया। उन्होंने कहा कि माताओं की उम्र ज्यादा होने से गर्भनाल द्वारा बच्चे तक पोषण और ऑक्सीजन पहुंचाने की क्षमता कम हो जाती है।

बढ़ती जा रही है पहली प्रेगनेंसी की उम्र

महिलाओं में पहली प्रेगनेंसी की औसत आयु दिनों-दिन बढ़ती जा रही है इसलिए यह समझना जरूरी है कि ज्यादा उम्र में मां बनने वाली महिलाओं के बच्चों में व्यस्क होने पर किस तरह की स्वास्थ्य संबंधी समस्याएं हो सकती है। मां को गर्भ में पल रहे बच्चे से जोड़ने वाली गर्भनाल बेहद गतिशील होती है। महिलाओं की उम्र बढ़ने से होने वाले जैनेटिक बदलावों के कारण गर्भनाल के कार्य करने की क्षमता भी प्रभावित होती है।

बढ़ती उम्र में पोषण का बंटवारा करना मुश्किल

ज्यादा उम्र में गर्भधारण करना मां के लिए काफी महंगा साबित होता है क्योंकि उसके शरीर के लिए बच्चों के साथ पोषण का बंटवारा करना थोड़ा मुश्किल हो जाता है।

बेटियों को नहीं होता अधिक खतरा

उम्रदराज महिलाों और मादा भ्रूण के मामले में गर्भनाल को फायदा होता है। शोध में पाया गया कि इस दौरान गर्भनाल में कुछ ऐसे सकारात्मक बदलाव होते हैं, जो भ्रूण को फायदा पहुंचाते हैं। वहीं नर भ्रूण के मामले में उम्रदराज माताओं का गर्भनाल कमजोर हो जाता है और ठीक से अपना काम नहीं कर पाता।

40 की उम्र के बाद कंसीव करना

शोधकर्ताओं का कहना है कि लगभग 1/3 महिलाएं जो 40 वर्ष से अधिक उम्र की हैं, बांझपन का शिकार होती हैं। इस उम्र की महिलाओं में गर्भकालीन मधुमेह का खतरा 3 से 6 गुना बढ़ जाता है। इसके अलावा आपका बढ़ा हुआ वज़न मेटाबोलिज्म को कम करता है, जिससे गर्भावस्था के बाद ठीक करना मुश्किल हो जाता है।

इस बात का रखें ख्याल

किसी भी उम्र में बच्चा प्लान करने से पहले अपनी डॉक्टर से सलाह लें, ताकि आपको प्रेग्नेंसी में कोई दिक्कत ना आए। वहीं अगर आप 30 की उम्र में पहला बच्चा पैदा करने की योजना बना रही हैं तो आपको अपनी डाइट पर खास ध्यान देना चाहिए। इसके लिए अलावा एक सही फिटनेस रूटीन बनाएं। एक स्वस्थ आहार रखना चाहिए। इसके अलावा, एक उचित फिटनेस शासन का विकल्प चुनें। धूम्रपान और शराब से बचें क्योंकि इससे बच्चे पर बुरा असर पड़ सकता है।

Content Writer

Anjali Rajput